मासूम से रेप के बाद हिंसा, महबूबा मुफ्ती बोलीं, दुष्कर्मी को पत्थरों से मार डालो
बच्ची से दुष्कर्म के मामले के खिलाफ कश्मीर में बवाल मचा हुआ है। हुर्रियत कांफ्रेंस के कश्मीर बंद के ऐलान के बीच सु़ंबल कांड के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे लोगों और सुरक्षा बलों के बीच पट्टन में हिंसक झड़पों में 47 सुरक्षाकर्मियों समेत 50 लोग जख्मी हो गए। इस बीच पीडीपी प्रमुख और राज्य की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कहा कि गुनहगार को पत्थरों से मार-मार कर सजा-ए-मौत दी जानी चाहिए।
घटना पर बेहद आक्रोषित नजर आ रहीं महबूबा मुफ्ती ने मांग की है कि ऐसे घिनौने जुर्म के गुनहगार को मुस्लिम शरिया कानून की बिनाह पर पत्थरों से मार-मार कर सजा-ए-मौत दी जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि वह इस खबर को सुनकर शर्म महसूस कर रही हैं। किस तरह की मानसिकता के लोग ऐसा कर सकते हैं?
पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने 3 वर्षीय मासूम के साथ हुए दुष्कर्म की कड़े शब्दों में निंदा की है। उन्होंने कहा कि पुलिस को दोषी को पूरी तरह चिन्हित करते हुए उसके खिलाफ एक ऐसा मामला बनाना चाहिए कि वे बच न सके।
जम्मू-कश्मीर पीपुल्स मूवमेंट के चेयरमैन शाह फैसल ने कहा कि दुष्कर्म आरोपित को सजा-ए-मौत होनी चाहिए। आरोपित की उम्र पर उन्होंने कहा कि जहां तक उनको पता है कि आरोपित को नाबालिग बताने वाला प्रमाणपत्र फर्जी है। उसे वयस्क माना जाए और फांसी दी जाए।
उल्लेखनीय है कि पिछले सप्ताह बांदीपोरा जिले में बच्ची से 20 वर्षीय युवक ताहिर मीर ने कथित तौर पर दुष्कर्म किया था। आरोपित पुलिस हिरासत में है। मामले की जांच के लिए पुलिस ने विशेष जांच दल गठित किया है।
घटना के विरोध में उपद्रवियों ने नटियाल राजमार्ग सहित मिर्जुंड, चैनबाला, हरथ्रथ, सिंघोरा, झेला पुल, कृपालपोरा पेनीन और हंजीवरा, जिला बारामूला के इलाकों में हिंसक प्रदर्शन किए और वहां तैनात सुरक्षा बलों पर पथराव किया।