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Last Updated : बुधवार, 12 जनवरी 2022 (14:36 IST)

PM आवास योजना ग्रामीण : त्रिपुरा के 1.46 लाख लाभार्थियों को मोदी ने दी 700 करोड़ की पहली किस्त

PM आवास योजना ग्रामीण : त्रिपुरा के 1.46 लाख लाभार्थियों को मोदी ने दी 700 करोड़ की पहली किस्त - PM Modi transfers first installment of PMAY-G to over 1.47 lakh beneficiaries in Tripura
अगरतला। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये ‘प्रधानमंत्री आवास योजना- ग्रामीण’ (पीएमएवाई-जी) के तहत त्रिपुरा के 1.47 लाख लाभार्थियों को पहली किस्त प्रदान की।
 
धलाई जिले में कमलछारा की निवासी मजदूर महिला अनीता कुकी देववर्मा को भी इस योजना का लाभ मिला। अनीता एक विधवा हैं और अभी मिट्टी के एक घर में अपने दो नाबालिग स्कूली बच्चों के साथ रहती हैं।
 
उन्हें पक्का घर बनाने के लिए पीएमएवाई-जी योजना के तहत पहली किस्त दी गई। उन्होंने वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये मोदी से कहा, “मैं एक दिहाड़ी मजदूर हूं और खेत में काम करती हूं। मेरा सपना था कि एक दिन मेरा पक्का घर होगा ताकि मेरे बच्चे अच्छे से रह सकें। आज मेरा सपना सच हुआ।”
 
प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से शनिवार को बताया गया था कि मोदी के हस्तक्षेप के बाद, त्रिपुरा की विशेष भू-जलवायु स्थिति के मद्देनजर राज्य के लिए ‘कच्चा’ घर की परिभाषा बदल दी गई है, जिससे कच्चे घर में रहने वाले लाभार्थियों की बड़ी संख्या को पक्का घर बनाने के लिए सहायता मिल रही है।
 
दक्षिण त्रिपुरा जिले के एक गांव के मुस्लिम लाभार्थी कादर बिया ने कहा, “मैं यह कभी नहीं सोच सकता था कि मुझे पक्का घर बनाने के लिए सरकार से पैसा मिलेगा। मेरी खुशी की सीमा नहीं है।”
 
प्रधानमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार बिना भेदभाव के लोगों को योजना का लाभ देने के लिए प्रतिबद्ध है। मोदी ने कहा, “यह सबका साथ, सबका विकास, सबका आवास है। हम व्यवस्था परिवर्तन करने का प्रयास कर रहे हैं ताकि लोगों को सीधा लाभ मिल सके। विप्लव कुमार देव के नेतृत्व में त्रिपुरा सरकार राज्य के विकास के लिए तेजी से काम कर रही है।”
सिपाहीजाला जिले के दुर्लभनारायण गांव की एक अन्य विधवा सोमा मजूमदार ने कहा कि पक्का घर होना उसका एक सपना था और पीएमएवाई-जी के कारण वह सच होने जा रहा है। मजूमदार मनरेगा योजना में काम करने वाली एक दिहाड़ी मजदूर है और वह हस्तकला का काम भी करती है। उसने प्रधानमंत्री को बताया कि उसे जो पैसे मिले हैं, उससे वह कोई अन्य काम नहीं करेगी।
 
प्रधानमंत्री ने कहा कि पहले पैसा दूसरों को दिया जाता था लेकिन सीधा खाते में स्थानांतरित किये जाने से लाभार्थियों को पूरा पैसा मिल रहा है। इस किस्त में 2,800 करोड़ रुपये में से 709 करोड़ रुपये लाभार्थियों के बैंक खातों में अंतरित किए जाएंगे।
 
प्रधानमंत्री ने कहा कि आज का कार्यक्रम त्रिपुरा के उज्ज्वल भविष्य का संकेत देता है। मोदी ने कहा, “आज प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत दी गई पहली किस्त से त्रिपुरा के सपनों को नई उड़ान मिली है। मैं त्रिपुरा के लोगों को दिल से बधाई देता हूं। उन डेढ़ लाख लोगों के परिवारों को बधाई देता हूं, जिन्हें पहली किस्त का लाभ मिला है। प्रधानमंत्री ने कहा कि त्रिपुरा को जो सोच गरीब बनाती है, त्रिपुरा के लोगों को सुविधाओं से वंचित करती है, ऐसी सोच की आज त्रिपुरा में कोई जगह नहीं है।
 
उन्होंने कहा कि अब राज्य के विकास में 'डबल इंजन' (राज्य और केंद्र) की सरकार पूरे बल से योगदान देगी। बाद में एक जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि एक समय था जब देश का पूर्वोत्तर क्षेत्र खुद को उपेक्षित समझता था, लेकिन आज देश के विकास को ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ की भावना से देखा जाता है और आज विकास को देश की एकता और अखंडता का पर्याय माना जाता है।
 
उन्होंने कहा कि पहले देश के उत्तरी और पश्चिमी भाग से बहने वाली हमारी नदियां पूर्व में आती थीं लेकिन विकास की गंगा क्षेत्र में आने से पहले ही रुक जाती थी।” मोदी ने कहा कि स्वतंत्रता संग्राम के दौरान, पूर्वोत्तर आदिवासी स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों और देश के अन्य भागों के लोगों ने देश के लिए अपना बलिदान दे दिया।
 
उन्होंने कहा कि इस परंपरा के सम्मान में देश लगातार इस विरासत को आगे ले जाने के लिए काम कर रहा है और देश ने निर्णय लिया है कि हर साल 15 नवंबर को भगवान बिरसा मुंडा की जयंती ‘आदिवादी गौरव दिवस’ के रूप में मनाई जाएगी।
 
उन्होंने कहा कि इस दिन को उसी महत्व के साथ मनाया जाएगा जैसे दो अक्टूबर को अहिंसा दिवस, 31 अक्टूबर को एकता दिवस, 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस, रामनवमी, कृष्ण अष्टमी आदि पर्व मनाये जाते हैं। प्रधानमंत्री ने कहा, “इस दिन को न केवल आदिवासी समाज के योगदान को याद करने के लिए मनाया जाएगा, बल्कि समरसता पूर्ण समाज के प्रतीक के रूप में भी याद किया जाएगा।”
 
उन्होंने कहा कि देश की महिलाएं विकास में पूरे विश्वास के साथ सेवा दे रही हैं। उन्होंने कहा कि देश में स्वयंसेवी समूहों की महिलाएं नारी शक्ति का अहम प्रतीक बनकर उभरी हैं।
 
मोदी ने कहा कि ऐसे समूहों को दिए जाने वाले ऋण को दोगुना कर 20 लाख रुपये कर दिया गया है। प्रधानमंत्री ने कहा कि इससे पहले आम आदमी को हर काम के लिए सरकार का दरवाजा खटखटाना पड़ता था लेकिन अब सरकार सारी सेवाएं उपलब्ध कराने के लिए खुद उनके द्वार तक जाती है। मोदी ने कहा कि पहले सरकारी कर्मचारी इस बात की चिंता करते थे कि उन्हें समय पर वेतन मिले, अब उन्हें सातवें वेतन आयोग का लाभ मिल रहा है।