कांग्रेस विधायक को मुख्यमंत्री के ऑफर पर बिफरी कांग्रेस, कहा काठ की हांडी बार-बार नहीं चढ़ेगी
भोपाल। राज्यसभा चुनाव से पहले मध्यप्रदेश की सियासत एक बार गर्मा गई है। मंगलवार को जबलपुर में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की ओर से कांग्रेस विधायक ओमकार सिंह मरकाम को भाजपा में शामिल होने का खुला ऑफर देने बाद सियासी गलियारों में अटकलों का बाजार गर्म है। अटकलें इस बात की भी लगाई जा रही है कि क्या भाजपा राज्यसभा चुनाव में पांचों सीटों पर अपना कब्जा जमाना चाह रही है। सवाल यह भी है कि आने वाले दिनों में कांग्रेस के कई विधायक और दिग्गज चेहरे भाजपा के पाले में खड़े नजर आ सकते है।
मंगलवार को मंगलवार को नेशनल हाईवे के शिलान्यास कार्यक्रम में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने मंच से डिंडौरी से कांग्रेस विधायक और कांग्रेस वर्किंग कमेटी के सदस्य ओमकार सिंह मरकाम को भाजपा में आने का ऑफर दे दिया। मंच से मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि कहां गलत पटरी में बैठे हुए हो, मेरे साथ आओ।
कांग्रेस ने मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव को घेरा- मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के इस खुले ऑफर के बाद खुद कांग्रेस विधायक ओमकार सिंह मरकाम ने पटलवार करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री प्रदेश का विकास करें ज्यादा दिमाग न चलाएं। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री का मंच से इस तरह की बात कहना कहीं से भी सही नहीं है। उन्होंने कहा कि हम एक मजबूत विपक्ष और सरकार के साथ विकास में सकारात्मक भूमिका निभाने के लिए तैयार है लेकिन बीजेपी में जाने के लिए नहीं।
वहीं मुख्यमंत्री की ओर से कांग्रेस विधायक को भाजपा में शामिल होने का ऑफर देने पर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने तंज कसते हुए कहा कि “लगता है आदिवासी समुदाय के अपमान को अब भाजपा ने अपने स्वाभिमान से जोड़ लिया है! तभी तो आर्थिक, सामाजिक और सांस्कृतिक रूप से उपेक्षा करने के बाद, अब राजनीतिक विचार को प्रभावित करने की नाकाम कोशिश कर रही है”!
पीसीसी चीफ ने मुख्यमंत्री को घेरते हुए कहा कि “डॉ. मोहन यादव जी हो सकता है आपको वर्तमान पद, कद, प्रभाव किसी "योजना" के तहत मिला हो! इसीलिए, "तोड़फोड़" का ये "संस्कार" अब असर कर रहा हो! लेकिन, ओमकार सिंह मरकाम जी मन, वचन, कर्म से कांग्रेस के साथ हैं और हमेशा रहेंगे!याद रखिए भाजपा की काठ की हांडी बार-बार नहीं चढ़ेगी! यदि वास्तव में कुछ करना ही चाहते हैं, तो आदिवासी समुदाय को विकास की मुख्य धारा में लाइए! क्योंकि, इस तरह का आचरण मुख्यमंत्री पद को शोभा नहीं देता”।
वहीं नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने कहा कि सुबह “CM ने जिस खुद्दार कांग्रेस विधायक को पटरी बदलने का न्यौता दिया था, उन्हीने उसी स्वाभिमान से भरा जवाब भी दिया है। ओमकार सिंह मरकाम आपने आदिवासी अस्मिता को बरकरार रखते हुए जो कहा वो भाजपा को करारा जवाब है। कांग्रेस के आदिवासी विधायक बिकाऊ नहीं है। कोई विधायक नहीं बिका है न बिकेगा। भाजपा के लिए ये सबक है कि किसी कांग्रेस विधायक को लालच न दिया जाए। जो बिके उनकी जमीन नहीं थी। आदिवासी तो जमीन से जुड़े हैं। वे न तो उखड़ेंगे और न बिकेंगे”।