Delhi water crisis : LG का CM केजरीवाल को खुला पत्र, आतिशी पर लगाए गंभीर आरोप
Delhi water crisis : दिल्ली के उपराज्यपाल वी.के. सक्सेना ने जेल में बंद मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को एक खुला पत्र लिखकर आरोप लगाया है कि जल मंत्री आतिशी ने पानी लेने को लेकर हुई लड़ाई में एक महिला की मौत का इस्तेमाल संकीर्ण राजनीतिक उद्देश्यों के लिए किया। आम आदमी पार्टी (आप) की नेता आतिशी ने इस पत्र को दुर्भाग्यपूर्ण बताया।
उपराज्यपाल ने आरोप लगाया कि सरकार ने मुफ्त पानी की कपोल-कल्पना रची और महिला की मौत उसकी विफलता को उजागर करती है।
आतिशी ने कुछ दिन पहले उपराज्यपाल को पत्र लिखकर दिल्ली जल बोर्ड के सीईओ को निलंबित करने का आग्रह किया था। मंत्री ने उत्तर-पूर्वी दिल्ली के फर्श बाजार इलाके में एक सार्वजनिक नल से पानी भरने को लेकर पड़ोसी के साथ हुए झगड़े में एक महिला की मौत के बाद उपराज्यपाल को पत्र लिखा था।
आतिशी के पत्र के कुछ दिन बाद सक्सेना ने केजरीवाल को कड़े शब्दों में एक खुला पत्र लिखा है। उपराज्यपाल ने पत्र में कहा कि मैं जल मंत्री आतिशी के असंवेदनशील संवाद से बहुत व्यथित था। हालांकि, मुझे प्राप्त होने से पहले ही यह पत्र विभिन्न सोशल मीडिया और मुख्यधारा मीडिया के मंचों पर पहुंच गया। मंत्री ने दिल्ली में एक महिला की दुर्भाग्यपूर्ण मौत का उपयोग संकीर्ण और पक्षपातपूर्ण राजनीतिक लक्ष्यों के लिए किया है।
LG ने दिल्ली सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि दिल्ली की जनता पानी की कमी से बेहाल है। पिछले 9 वर्षों में दिल्ली की आबादी 15% बढ़ी है, जबकि दिल्ली में पानी की उपलब्धता 4% बढ़ी है। दिल्ली सरकार खुद ये मानती है है दिल्ली की 20% आबादी को पाइप से पानी नहीं मिलता है। जबकि ये आंकड़ा इससे ज्यादा है। दिल्ली में टैंकर माफियों का राज है।
सक्सेना ने कहा कि उनका (आतिशी) पत्र वास्तव में पिछले लगभग 10 वर्षों में (सरकार की) निष्क्रियता और अक्षमता की प्रथम दृष्टया स्वीकारोक्ति है। उन्होंने दावा किया कि पानी की कमी को लेकर अतीत में भी ऐसी कई घटनाएं सरकार की विफलता के कारण हुई हैं।
उन्होंने पत्र में लिखा कि जल आपूर्ति की समस्या को दूर करने के बजाय, आपने और आपके मंत्रियों ने मुफ्त पानी की कपोल-कल्पना रची।
आतिशी ने पलटवार करते हुए कहा कि प्रतीत होता है कि दिल्ली जल बोर्ड की सभी पहलों और कार्रवाइयों को एक साजिश के माध्यम से रोक दिया गया है, जिसके तहत डीजेबी को धन जारी करने पर रोक लगा दी गई।
Edited by : Nrapendra Gupta