झारखंड रोहिंग्याओं की धर्मशाला बना, लव जिहाद से बेटियां खतरे में
झारखंड के गढ़वा की चुनावी रैली में गरजे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ
Chief Minister Yogi Adityanath rally in Jharkhand: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने झारखंड के गढ़वा में चुनावी रैली को संबोधित करते हुए सोमवार को आरोप लगाया कि झारखंड रोहिंग्याओं के लिए धर्मशाला बन गया है और घुसपैठियों को अराजकता फैलाने की खुली छूट दे दी गई है। उन्होंने सत्तारूढ़ हेमंत सोरेन सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि राज्य के मजदूर पलायन करने के लिए मजबूर हैं।
भाजपा नेता योगी आदित्यनाथ ने कहा कि राज्य में झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेतृत्व वाली सरकार में प्राकृतिक संपदा की लूट हो रही है और मजदूर पलायन के लिए मजबूर हैं। उन्होंने कहा कि झारखंड रोहिंग्याओं के लिए धर्मशाला बन गया है और घुसपैठियों को अराजकता फैलाने की खुली छूट दे दी गई है। लव जिहाद के कारण झारखंड की बेटियां खतरे में हैं, केवल भाजपा ही इसका मुंहतोड़ जवाब दे सकती है।
ALSO READ: योगी ने अखिलेश के PDA का भी कर दिया नामकरण, प्रोडक्शन हाउस ऑफ दंगाई एंड अपराधी
कटेंगे तो बटेंगे और... : योगी ने रैली के दौरान दोहराया कि बटेंगे तो कटेंगे, एक रहेंगे तो सुरक्षित रहेंगे। उन्होंने कहा कि झामुमो तथा कांग्रेस घुसपैठियों के हितैषी हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि झारखंड में झामुमो के नेतृत्व वाली सरकार के तहत लोगों को शांतिपूर्ण ढंग से त्योहार मनाने की अनुमति तक नहीं दी जा रही है।
ALSO READ: जहां दिखे सपाई, वहां बिटिया घबराई, योगी का विपक्षी पार्टी पर निशाना
डबल इंजन सरकार की जरूरत : उत्तर प्रदेश का उल्लेख करते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि यूपी में पत्थरबाजों और माफियाओं को यमराज के घर भेजा गया तथा झारखंड को भी अब इसी तरह की व्यवस्था के लिए डबल इंजन वाली सरकार की जरूरत है। उन्होंने विपक्षी नेताओं पर निशाना साधते हुए कहा कि रांची, पटना और दिल्ली में 3 परिवार केवल अपने ही विकास के लिए लूट में लिप्त हैं।
ALSO READ: योगी के बाद अब प्रधानमंत्री मोदी बोले, एक हैं तो सेफ हैं
योगी कहा कि पलामू के हुसैनाबाद का नाम बदलकर राम नगर किया जाना चाहिए। झामुमो के नेतृत्व वाली सरकार में झारखंड में रेत माफिया, मवेशी माफिया, वन माफिया, भूमि माफिया सक्रिय हैं, जबकि यूपी माफिया को यमराज के पास पहुंचाया जा रहा है। (एजेंसी/वेबदुनिया)
Edited by: Vrijendra Singh Jhala