पाकिस्तान में मंदिर में तोड़फोड़ मामले में 20 गिरफ्तार, 150 से अधिक लोगों पर मामला दर्ज
प्रमुख बिंदु
-
पाकिस्तान में मंदिर में तोड़फोड़ मामले में 20 गिरफ्तार
-
सुप्रीम कोर्ट ने दिया गिरफ्तारी का आरोप
-
सुनवाई 13 अगस्त तक के लिए टाली
लाहौर। पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की पुलिस ने कहा है कि उन्होंने देश के सुदूरवर्ती शहर में एक हिन्दू मंदिर पर हमले के आरोप में 20 लोगों को गिरफ्तार किया है व 150 से अधिक लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया है। पुलिस की कार्रवाई ऐसे वक्त में सामने आई है, जब देश के उच्चतम न्यायालय ने शुक्रवार को ऐसे हमलों को रोकने में नाकामी को लेकर अधिकारियों की खिंचाई की और दोषियों को गिरफ्तार करने का आदेश दिया। अदालत ने कहा कि ऐसी घटनाओं से दुनिया में देश की छवि को नुकसान पहुंचता है।
पंजाब प्रांत के रहीमयार खान जिले के भोंग इलाके में लाठी-डंडों, पत्थर और ईंट लिए सैकड़ों लोगों ने एक मंदिर पर हमला किया, उसके कुछ हिस्सों को जलाया और मूर्तियां खंडित कीं। उन्होंने एक स्थानीय मदरसे में कथित तौर पर पेशाब करने के लिए गिरफ्तार किए गए 8 वर्षीय हिन्दू लड़के को अदालत द्वारा रिहा करने के विरोध में मंदिर पर हमला किया। रहीमयार खान के जिला पुलिस अधिकारी (डीपीओ) असद सरफराज ने पत्रकारों को बताया कि हमने भोंग में कथित रूप से मंदिर पर हमला मामले में अब तक 20 संदिग्धों को गिरफ्तार किया है। उन्होंने बताया कि आगामी दिनों में गिरफ्तारी संभावित थी, क्योंकि पुलिस वीडियो फुटेज के माध्यम से संदिग्धों की पहचान कर रही थी।
उन्होंने बताया कि मंदिर पर हमला करने के आरोप में 150 से अधिक लोगों के खिलाफ आतंकवाद और पाकिस्तान दंड संहिता (पीपीसी) की अन्य धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई है। उन्होंने कहा कि इस अपराध में शामिल हर संदिग्ध को गिरफ्तार किया जाएगा। उच्चतम न्यायालय के आदेश के अनुसार मंदिर की मरम्मत का काम शुरू कर दिया गया है। पाकिस्तान के प्रधान न्यायाधीश गुलजार अहमद ने शुक्रवार को कहा कि मंदिर में तोड़फोड़ की घटना देश के लिए शर्मनाक है, क्योंकि पुलिस मूकदर्शक की तरह काम कर रही है।
प्रधान न्यायाधीश ने 8 साल के बच्चे की गिरफ्तारी पर हैरानी जताई और पुलिस से पूछा कि क्या वह इतने छोटे बच्चे की मानसिक हालत को समझ नहीं पाई? पाकिस्तान की संसद ने शुक्रवार को एक प्रस्ताव पारित कर मंदिर पर हमले की घटना की निंदा की। मामले में सुनवाई 13 अगस्त तक के लिए टाल दी गई है।
भारत ने गुरुवार को नई दिल्ली में पाकिस्तानी उच्चायोग के प्रभारी को तलब किया और इस घटना के साथ पाकिस्तान में अल्पसंख्यक समुदाय की आजादी और उनके धार्मिक स्थानों पर हमले की लगातार बढ़ती घटनाओं को लेकर कड़ा विरोध दर्ज कराया। पाकिस्तान में हिन्दू सबसे बड़ा अल्पसंख्यक समुदाय है। आधिकारिक अनुमान के अनुसार पाकिस्तान में 75 लाख हिन्दू रहते हैं। हालांकि समुदाय के मुताबिक देश में 90 लाख से अधिक हिन्दू रहते हैं। पाकिस्तान की अधिकांश हिन्दू आबादी सिंध प्रांत में बसी है, जहां वे मुस्लिम निवासियों के साथ संस्कृति, परंपरा और भाषा साझा करते हैं। वे अक्सर चरमपंथियों द्वारा उत्पीड़न की शिकायत करते हैं।(भाषा)