शुक्रवार, 26 अप्रैल 2024
  • Webdunia Deals
  1. मनोरंजन
  2. बॉलीवुड
  3. मुलाकात
  4. director vishal furia revealed this reason Nushrratt Bharuccha was the first choice for Chhori
Last Updated : सोमवार, 22 नवंबर 2021 (17:12 IST)

'छोरी' के लिए नुसरत भरुचा इस वजह से थीं पहली पसंद, निर्देशक ने खोला राज

'छोरी' के लिए नुसरत भरुचा इस वजह से थीं पहली पसंद, निर्देशक ने खोला राज - director vishal furia revealed this reason Nushrratt Bharuccha was the first choice for Chhori
नुसरत भरुचा हमारी फिल्म 'छोरी' में मेन लीड निभाने के लिए बिल्कुल तैयार थीं और हमारी पहली पसंद भी वही थीं। दरअसल मैं नुसरत से कुछ सालों पहले मिला था किसी और फिल्म और प्रोजेक्ट के लिए, वह उस समय मुमकिन नहीं हो सका। फिर जब छोरी की बात आई तो मेरे दिल में नुसरत की ही याद आई। जब आप एक हॉरर फिल्म बनाते हैं तो बहुत जरूरी होता है कि आप किसी ऐसे एक्टर एक्ट्रेस को ले खासकर छोरी के लिए जो जी जान से काम करने के लिए तैयार हो वो रोल में जान फूंक दे। 

 
एक्टर में काम करने की भूख हो। और नुसरत में वह भूख मुझे हमेशा से दिखाई दी है। छोरी में जो किरदार है उसे देखकर ही समझा जा सकता है कि वह बहुत ही नाजुक से हालत में है और उसे इस हालत में बहुत सारी बातों को देखना सुनना और समझना पड़ेगा। इसलिए नुसरत ही हमारी पहली पसंद थीं और मेरे साथ साथ निर्माताओं की भी पहली चॉइस नुसरत की थी। यह कहना है फिल्म छोरी के निर्देशक विशाल फुरिया का। हाल ही में फिल्म के प्रमोशन के लिए उन्होंने पत्रकारों के कई सवालों के जवाब दिए। 
 
आपको थोड़ा अखरा कि यह फिल्म थिएटर में आ सकती थी लेकिन ओटीटी पर दिखा रहे है।
जब 2017 में मेरी मराठी फिल्म लपाछिपि रिलीज हुई थी। तब मैंने थिएटर के उस बड़े पर्दे का आनंद ले लिया था। मैंने अपनी फिल्म के लिए हाउसफुल का बोर्ड भी देखा। लोग सिनेमा हॉल आते थे फिल्म देखते थे, डरते थे, मजे लेते थे। फिर भी फिल्म देखते थे तो मुझे उस चीज को मिस करने की जरूरत नहीं है। इस बार जब मैं छोरी के साथ लोगों के सामने आ रहा हूं। मुझे मेरी सोच को बहुत सारे लोगों के सामने लेकर आना है।
 
यह फिल्म एक साथ कई देशों में देखने को मिलेगी तो जाहिर है मेरे दर्शक कई गुना बढ़ गए हैं जहां तक बात रही सिनेमा हॉल्स की तो अभी जिस तरीके से हालात हैं, उसके बाद सिनेमाहॉल में कुछ लोग ही आ सकते हैं। बहुत सारे नियम कायदे और पाबंदियां हैं। यानी जो आम सिनेमा का मजा होता था वह कम से कम अभी कुछ दिनों तक तो नहीं मिल पाने वाला है। फिल्म ओटीटी पर दिखाई जा रही तो इस बात की मुझे एक शांति भी है कि जिसको मेरी फिल्म देखनी है वह कहीं ना कहीं से थोड़ा सा समय निकाल लेगा।
 
अमेजन प्राइम पर आने वाली यह फिल्म आप की पुरानी फिल्म लपाछपी का हिंदी रूपांतरण है। कितना अलग है आपकी यह फिल्म?
लपाछपी और ‍छोरी में बहुत ज्यादा अंतर है। एक तो सबसे पहले बात कास्ट अलग है। भाषा अलग है उस समय मुझे मराठी बहुल क्षेत्र को ध्यान में रखते हुए फिल्म बनाना था और अभी जो मैंने बनाया है वह पूरे भारत को देखते हुए बनाया है कि किस तरीके से भारत को पर्दे पर दिखाया जा सके और फिर छोरी के दर्शक जो है वह पूरी दुनिया में से कहीं भी हो सकते हैं। मैं कहानी में बहुत सी तब्दीलियां लेकर आया हूं। 
 
उस समय हमारे पास जितना भी बजट था तो जितना जरूरी था उसका एक्टर को ध्यान में रखते हुए टेक्निकैलिटी के हिसाब से उतने बजट में वह फिल्म बनाई गई। यहां पर मेरे पास बजट अच्छा खासा दिया गया था। मैं जिस तरीके से उस तरीके से शूट कर सकता था उसकी आजादी मुझे दी गई थी। फिर एक बात यह भी होती है कि वह फिल्म 2015 में बनी थी और छोरी 2021 में लोगों के सामने आ रही है। तो इतने सालों में तुम मेरे अंदर बहुत सारी तब्दीलियां चुकी है। 
 
फिल्म को दिखाने का जो मेरा तरीका है उसमें भी कई तब्दीली आई है, लेकिन एक बात कह सकता हूं कि जिन्होंने मराठी फिल्म देखी है और वह अगर छोरी को देखेंगे। तो उन्हें अंतर नजर आएगा और हो सकता है कि उन्हें यह जो नए अंतर आए हैं, बहुत पसंद आएं।
 
इस फिल्म को रिलीज होने के बाद लोग कैसे प्रतिक्रिया दे सकते हैं?
यह तो मैंने नहीं सोच या बता सकता हूं, लेकिन इतना बता सकता हूं जब लपाछपी रिलीज की थी तो लोगों को बहुत पसंद आई थी और खासतौर पर से बहुत सारी महिलाएं इसे देखने आई थी क्योंकि जो मेन लीड है वह भी एक महिला है तो महिलाएं उस हीरोइन से कहीं ना कहीं अपने आप को जोड़कर देख रही थी।  
 
मैंने अपनी फिल्म लपाछिपि को 11 हफ्ते तक सिनेमा हॉल में चलते हुए देखा है। हाउसफुल के बोर्ड देखें। फिल्म देखने के बाद कई लोगों ने मुझे पर्सनल मैसेज करके बधाइयां भी दी है। तो जब ओरिजिनल फिल्म के साथ ऐसा हुआ है तो मुझे लगता है कि छोरी को भी लोग पसंद कर सकते हैं।
 
आपको मराठी और हिंदी में कौन सी हॉरर फिल्म पसंद आई है?
मैंने मराठी में हॉरर फिल्म्स कम देखी है। फिर भी एक दो फिल्में थी जो मुझे पसंद हैं। ऐसे में झपाटलेला यह फिल्म मुझे खासतौर पर से याद आती है और हिंदी में तो मिली बड़ी मुश्किल वाली बात हो जाएगी। बहुत सारी फिल्में है जो पसंद की है लेकिन चलिए हालिया फिल्म कि अगर मैं बात करूं तो मुझे थुम्बाड बहुत पसंद आई है। बहुत ही अच्छे तरीके से लिखी और बनाई गई है यह फिल्म। 
 
ये भी पढ़ें
देशभर में थिएटर चेन खोलेंगे सलमान खान, यह होगा नाम