मंगलवार, 15 अक्टूबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. लाइफ स्‍टाइल
  2. योग
  3. आलेख
  4. कोरोनाकाल : अन्यथा आप 60 से 70 के बीच स्वर्ग सिधार जाएंगे

कोरोनाकाल : अन्यथा आप 60 से 70 के बीच स्वर्ग सिधार जाएंगे

Lifestyle in Corona Time | कोरोनाकाल : अन्यथा आप 60 से 70 के बीच स्वर्ग सिधार जाएंगे
कुछ वर्ष पूर्व आर्काइव्स ऑफ इंटरनल मेडिसिन में प्रकाशित शोध के परिणाम के अनुसार लंबी उम्र के लिए हमारे जीन सिर्फ 30 प्रतिशत तक जिम्मेदार होते हैं बाकी का काम तो जीवन शैली करती है। कोरोनाकाल में हमारी लाइफ स्टाइल पूरी तरह से बदल गई है। अधिकतर लोगों के पेट निकल गए हैं तो कई लोग मानसिक रूप से बीमार हो गए हैं। इनमें भी कुछ ऐसे हैं जिन्हें घर में बैठे बैठे ही डायबिटीज हो गई है या कोलेस्ट्रॉल बढ़ गया है। बहुतों का यूरिक एसिड भी बढ़ गया जो किडनी के लिए खतरनाक होता है। इम्यून सिस्टम भी गड़बड़ा गया है।
 
मतलब यह कि अब अनलॉक की प्रक्रिया के दौरान और उसके बाद भी आपको जीवन शैली बदलना होगी अन्यथा आप 60 से 70 के बीच रोगग्रस्त होकर स्वर्ग सिधार जाएंगे। इसके लिए नियमित जीवन शैली आपना कर आजमाने होंगे आयुर्वेद और योग के नुस्खे।
 
1. शुद्ध वायु और जल का सेवन : प्राचीन आयुर्वेद के ऋषि कहते हैं कि वनों से वायु, वायु से आयु प्राप्त होती है। यदि आपके घर के आसपास अच्छे वृक्ष (पौधे नहीं) नहीं है तो उन्हें लगाएं। शरीर की वायु को शुद्ध करने के लिए प्राणायाम को अपनी नियमित जीवन शैली में शामिल कर लें या प्रात:काल उठकर मॉर्निक वॉक पर जाएं। कई लोग प्रतिदिन 1 घंटा पैदल प्रात: पैदल भ्रमण करते हैं। पैदल चलना सेहत के लिए सबसे ज्यादा फायदेमंद होता है। सौ दवाई एक घुमाई।
 
आपको शायद यह तो पता ही होगा कि कछुआ लगभग 150 वर्ष तक इसलिए जिंदा रहता है क्योंकि उसकी श्वास लेने की गति बहुत ही धीमी है और वह शुद्ध वायु को ही अपने भीतर ग्रहण करता है। शुद्ध जल ही पर्याप्त नहीं होता बल्कि आपके शरीर के टेम्परेचर के हिसाब से जल ग्रहण करें।  अत: भोजन करने और जल पीने के आयुर्वेदिक नियमों का पालन करें। यदि आप सीधे प्रकृति से प्राप्त ही भोजन करेंगे तो अति उत्तम होगा।
 
2. रोज योगासन करें : जितनी जल्दी हो सके योग के सभी क्रिया, कर्म, आसन आदि सीख लें। फिर भले ही नियमित रूप से आसन ही करें और जरूरत होने पर क्रियाएं करें। यह बहुत जरूरी है कि आप यह जान लें कि यौगिक क्रियाएं किस तरह से कार्य करती हैं। आसनों से ज्यादा असरकारक होती है यौगिक क्रियाएं।
 
3. जड़ी बूटियों से उम्र को रोका जा सकता है : वैज्ञानिक अमरता के रहस्यों से पर्दा हटाने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहे हैं। बढ़ती उम्र के प्रभाव को रोकने के लिए कई तरह की दवाइयों और सर्जरी का विकास किया जा रहा है। अब इसमें योग और आयुर्वेद को भी महत्व दिया जाने लगा है। बढ़ती उम्र के प्रभाव को रोकने के बारे में आयोजित एक व्यापक सर्वे में पाया गया कि उम्र बढ़ाने वाली 'गोली' को बनाना संभव है। रूस के साइबेरिया के जंगलों में एक औषधि पाई जाती है जिसे जिंगसिंग कहते हैं। चीन के लोग इसका ज्यादा इस्तेमाल करके देर तक युवा बने रहते हैं। हमारे देश में आयुर्वेद में भी ऐसी कई औषिधियां हैं जिनका सेवन किया जा सकता है।
 
4. उपवास : गुरुवार और एकादशी का उपवास रखते हुए आप प्रतिदिन 16 घंटे उपवास का रूल फालो करें। अर्थात रात के भोजन के बाद 16 घंटे तक कुछ भी न खाएं और न पीएं। बस जल और नारियल पानी ही ग्रहण कर सकते हैं।
 
7. चिंता और नशे से घटती है उम्र : अनावश्यक चिंता-बहस, नशा, स्वाद की लालसा, असंयमित भोजन, गुटका, पाऊच, तम्बाकू और सिगरेट के अलावा अतिभावुकता और अतिविचार के चलते बहुत से लोग समय के पूर्व ही अधेड़ होने लगे हैं और उनके चहरे की रंगत भी उड़ गई है। उक्त सभी पर प्रतिबंध लगाएं।
ये भी पढ़ें
छठ पर्व रेसिपी : कद्दू की सब्‍जी के बिना अधूरा है छठ पर्व, पढ़ें आसान विधि