UP : बागपत की अनोखी शादी, घोड़ी पर सवार दुल्हन पहुंची दूल्हे के द्वार, महिला सशक्तिकरण का दिया संदेश
बागपत में एक अनोखी बारात देखकर लोग दंग रह गए। इस बारात में गाजे-बाजे के साथ दुल्हन नाचते हुए घोड़ी पर सवार होकर घुड़चढ़ी के लिए निकल गई। दुल्हन के इस फैसले में उसके पिता और परिवार की सहमति थी, घोड़ी पर चढ़कर बागपत की इस बेटी ने महिला सशक्तिकरण में अहम भूमिका निभाते हुए समानता का संदेश दिया है। दुल्हन बनी नमन का कहना है कि जब बेटे शादी के लिए दूल्हा बनकर घुड़चढ़ी करते हैं, तो बेटी भी परिवार का मान होती है, इसलिए वह समानता की अधिकारी है।
घुड़चढ़ी के लिए घोड़ी पर सवार युवती का नाम नमन है, यह बागपत जिले के आजाद नगर मोहल्ले में रहने वाली है। नमन के पिता टीचर है और उन्होंने बेटी नमन को बेटे की तरह पाला है। इस बेटी की शादी उस समय परिवार और बागपत के लोगों के लिए यादगार बन गई, जब दुल्हन नमन पिया को पाने के लिए बैंडबाजों के साथ घोड़ी पर सवार होकर नाचते हुए निकल पड़ी। साधारण परिवार की इस बिटिया असाधारण साहस की चर्चा पूरे बागपत जिले में हो रही है।
नमन बचपन से ही कुछ अलग कर गुजरने की सोच रखती है। वह पढ़ी-लिखी आत्मविश्वास से लबरेज युवती है, नमन का यह आत्मविश्वास उसे औरों से अलग पहचान दिलाता आया है। उसके पिता विक्रम सिंह एक सेवानिवृत्त शिक्षक हैं और वे बेटी के हर फैसले में हमेशा सपोर्ट करते हैं। नमन उत्तराखंड के देहरादून हेल्थ इंश्योरेंस कंपनी में सहायक शाखा प्रबंधक हैं। घुड़चढ़ी की रस्म में नमन के भाई पीयूष, माँ राकेश व बहन मृदुल, पिता विक्रम समेत चचेरा भाई राजकुमार, वरुण सिंह, मामा रतनलाल, शेर सिंह व बुआ राजबीरी देवी शामिल हुए और जमकर ठुमके लगाए।
नमन की शादी हरियाणा के वल्लभगढ़ निवासी हर्ष से हुई। घर में पूरे रस्मोंरिवाज के साथ शादी की परंपराओं को निभाया जा रहा है। दुल्हन नमन जैसे ही सजकर घोड़ी पर बैठी तो वहां मौजूद रिश्तेदार चौंक गए, क्योंकि भारतीय परंपरा में दूल्हा घोड़ी पर बैठकर घुड़चढ़ी के लिए जाता है, लेकिन बागपत की इस बेटी ने घोड़े पर बैठकर नई परंपरा की नींव रखते हुए बेटे-बेटी के अंतर को मिटाने का संदेश दिया है।
घुड़चढ़ी के दौरान ढोल-नगाड़ों के साथ नमन के परिवार वाले, रिश्तेदार और मित्र खुशी से झूम उठे। महिलाओं ने पारंपरिक गीत गाए, वहीं बेटी के फैसले से गौरवान्वित पिता की आंखें भर आई और बोले 'मैंने हमेशा अपनी बेटी को सिखाया कि वह किसी से कम नहीं है। आज उसने घोड़ी पर सवार होक यह साबित कर दिया है।
दुल्हन नमन ने मीडिया से रूबरू होते हुए कहा कि 'हमारे समाज में बेटियों को हमेशा सीमाओं में बांधकर रखा जाता है। मैं चाहती थी कि मेरी शादी मेरी सोच का प्रतीक बने और यह दिखाए कि बेटियां भी अपने हक और परंपराओं को अपने तरीके से निभा सकती हैं। लड़के घुड़चढ़ी करते हैं तो यह शान मानी जाती है, फिर लड़कियां क्यों नहीं? हम किसी से कम नहीं।'
नमन की बेटियों के लिए यह आदर्शवादी सोच तारीफ के काबिल है, बेटियों के ऐसे अहम निर्णय समाज में बदलाव के सूचक भी है। नमन कहती है कि बेटियां भी बेटों से कम नही है, भेदभाव की परिपाटी खत्म हो जानी चाहिए। वह चाहती है कि सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ जी लड़कियों को प्रोत्साहित करने के लिए अभियान चलाएं। नमन की घोड़ी पर सवार दूल्हे के द्वार पहुंचने का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी के साथ वायरल हो रहा है।