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Written By निष्ठा पांडे
Last Updated : सोमवार, 15 फ़रवरी 2021 (22:26 IST)

चमोली आपदा : 56 लोगों के शव अलग-अलग स्थानों से मिले, मलबा निकालने उतारी पांच JCB

Chamoli disaster | चमोली आपदा : 56 लोगों के शव अलग-अलग स्थानों से मिले, मलबा निकालने उतारी पांच JCB
जोशीमठ। उत्तराखंड पुलिस के प्रवक्ता और पुलिस उपमहानिरीक्षक अपराध एवं कानून-व्यवस्था नीलेश आनंद भरणे ने बताया कि चमोली आपदा में लापता कुल 204 लोगों में से 56 लोगों के शव अलग-अलग स्थानों से बरामद किए जा चुके हैं। तपोवन टनल में सोमवार को दूसरे दिन भी 3 शव मिले हैं। मृतकों के शवों में से 29 लोगों की शिनाख्त हो गई है और 27 की शिनाख्त नहीं हो पाई है।
 
लापता समस्त लोगों के संबंध में अब तक कोतवाली जोशीमठ में 52 एफआईआर पंजीकृत की जा चुकी है। इसके साथ ही जनपद चमोली के विभिन्न स्थानों से ही 22 मानव अंग भी बरामद किए गए हैं। बरामद सभी शवों एवं मानव अंगों का डीएनए सैम्पलिंग और संरक्षण के सभी मानदंडों का पालन कर सीएचसी जोशीमठ, जिला चिकित्सालय गोपेश्वर एवं सीएचसी कर्णप्रयाग में शिनाख्त हेतु रखा गया।
अभी तक 56 परिजनों के DNA सैंपल शिनाख्त में सहायता हेतु लिए गए हैं। नियमानुसार डिस्पोजल हेतु गठित कमेटी द्वारा अभी तक 53 शवों एवं 20 मानव अंगों का पूरे धार्मिक रीति-रिवाजों एवं सम्मान के साथ दाह-संस्कार करा दिया गया है। पुलिस ने बताया कि चमोली में आई प्राकृतिक आपदा में स्थानीय पुलिस, एसडीआरएफ, फायर सर्विस, एफएसएल रेस्क्यू, खोज, बचाव राहत एवं डीएनए सैम्पलिंग के कार्यों में लगी हुई है। 
 
उत्तराखंड पुलिस के प्रवक्ता नीलेश आनंद भरणे के अनुसार उत्तराखंड पुलिस की देखरेख में उत्तराखंड पुलिस मुख्यालय में एक कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है जिसका नंबर 0135-2712685 एवं मोबाइल नंबर 94111-12985 है। आपदा में लापता हुए लोगों की सूची एवं बरामद हुए शवों की पहचान हेतु अन्य राज्यों की पुलिस से भी लगातार पत्राचार किया गया है। शवों से मिले आभूषण, टैटू एवं अन्य पहचान चिन्हों की फोटोग्राफी और वीडियोग्राफी कर उन्हें सुरक्षित रखा जा रहा है। जनपद चमोली में स्थापित कंट्रोल रूम का नंबर 01372-251487 एवं मोबाइल नंबर 9084127503 है।
5 जेसीबी उतारीं : रविवार से एनटीपीसी ने तपोवन बैराज में भी 5 जेसीबी उतार दी हैं। जीएम अहिरवाल के मुताबिक यहां अत्यधिक मलबा जमा है। इसे पंप के जरिए बाहर निकाला जाएगा। इसके बाद मुख्य सुरंग में जाने का रास्ता खोलने का प्रयास किया जाएगा। सुरंग में पहुंचने के लिए ड्रिल का काम भी पूरा कर लिया गया है। हालांकि यहां अभी मलबा मिलने से सुरंग में जाने का प्रयास सफल नहीं हो पाया है।
 
20-20 लाख का मुआवजा : एनटीपीसी में कार्यरत मृत श्रमिकों के परिजनों को एनटीपीसी 20-20 लाख का मुआवजा देगी। प्रोजेक्ट में काम करने वाले सभी स्थायी-अस्थायी कर्मियों के परिवारों को मुआवजा मिलेगा। एनटीपीसी के जीएम आरपी अहिरवाल ने बताया कि परियोजना में कार्यरत सभी श्रेणी के कर्मचारियों के परिजनों को मुआवजा राशि मिलेगी।
 

केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह ने आपदा में मारे गए परियोजना के कर्मचारियों को 20-20 लाख का मुआवजा देने की घोषणा अपने आपदा के बाद किए यहां के दौरे में की थी। केंद्रीय मंत्री की घोषणा के बाद एनटीपीसी के जीएम आरपी अहिरवाल ने साफ किया है कि परियोजना के तहत कार्यरत सभी श्रेणी के कर्मचारियों के परिजनों को मुआवजा दिया जाएगा। यह मुआवजा सरकारों की ओर से दिए जाने वाले मुआवजे से अलग होगा।
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