देश में गहराया बिजली संकट, ऊर्जा मंत्री की मंत्रालय और पॉवर प्लांट अधिकारियों के साथ होगी बैठक
नई दिल्ली। देशभर में इन दिनों बिजली संकट देखने को मिल रहा है। बिजली संकट को देखते हुए बुधवार को ऊर्जा मंत्री आरके सिंह मंत्रालय के अधिकारियों और पॉवर प्लांट अधिकारियों के साथ बैठक कर सकते हैं।
मंगलवार को गृहमंत्री अमित शाह ने भी ऊर्जा मंत्री आरके सिंह, कोयला मंत्री प्रहलाद जोशी और रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव से इसी मुद्दे पर चर्चा की। देश के अधिकतर पॉवर प्लांट में कोयले की कमी बताई जा रही है और ऑल इंडिया पॉवर इंजीनियर्स फेडरेशन ने इस साल भीषण गर्मी में जबर्दस्त बिजली कटौती के संकेत दिए हैं। ऐसे में सरकार अब सतर्क हो गई है।
राजधानी दिल्ली में पीक पॉवर डिमांड अप्रैल के महीने में अब तक की सबसे ज्यादा 5,735 मेगावॉट तक पंहुची है। ये अप्रैल के महीने में अब तक की सबसे ज्यादा डिमांड दर्ज की गई है। इससे पहले 30 अप्रैल 2019 को सबसे ज्यादा पीक पॉवर डिमांड 5,664 मेगावॉट थी। इस साल 1 अप्रैल 2022 से अब तक पीक पॉवर डिमांड में 2 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है जबकि 1 मार्च के बाद से अब तक पीक पॉवर डिमांड में 42 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई है।
अगर मांग के मुताबिक बिजली की सप्लाई नहीं होती है तो बिजली कटौती का दौर देखने को मिल सकता है। नोमुरा ने जानकारी दी कि 173 पॉवर प्लांट में से करीब सौ पॉवर प्लांट में कोयले का स्टॉक गंभीर स्तर तक गिर चुका है। इन प्लांट में जरूरी सीमा का सिर्फ एक चौथाई कोयला ही बचा है। हालांकि कोल इंडिया का कहना है देश में कोयले की किल्लत नहीं है और पॉवर प्लांट को सप्लाई बढ़ाई जा रही है।