पश्चिमी देशों की किन बातों से आया विदेश मंत्री जयशंकर को गुस्सा, यूक्रेन युद्ध पर सुनाई खरी-खरी
नई दिल्ली। विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने यूक्रेन युद्ध पर भारत के रुख की आलोचना करने वालों को खरी-खरी सुनाई है। जयशंकर ने कहा कि पश्चिमी देशों को भारत के इसी रवैए के साथ जीना होगा। जयशंकर ने यह बात टाइम्स नाउ समिट 2022 में कही।
विदेश मंत्री ने कहा कि भारत भी पाकिस्तान और अफगानिस्तान से जुड़े मसलों पर मतभेदों के बाद भी पश्चिमी देशों के साथ काम करता रहा है।
उन्होंने कहा कि अब अगर भारत का रुख 'आपकी उम्मीदों से मेल नहीं खाता तो ये आपकी समस्या है।
जयशंकर ने कहा कि बाली में जी20 देशों के शिखर सम्मेलन का नतीजा भी इस मामले पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जजमेंट को सही साबित करता है।
मुंबई हमले पर दिया यह बयान : विदेश मंत्री एस जयशंकर ने शनिवार को कहा कि मुंबई में 26 नवंबर 2008 को हुए आतंकवादी हमलों की साजिश में शामिल लोगों को न्याय के कठघरे में लाया जाना चाहिए।
चार दिन तक चले इन हमलों में 140 भारतीय नागरिकों और 23 अन्य देशों के 26 नागरिकों की मौत हो गई थी।
जयशंकर ने हमले की 14वीं बरसी पर ट्वीट किया कि आतंकवाद मानवता के लिए खतरा है। आज 26/11 के दिन पूरी दुनिया भारत के साथ मिलकर इसके (हमला) पीड़ितों को याद कर रही है।
उन्होंने कहा कि जिन लोगों ने इन हमलों की साजिश रची, उन्हें न्याय के कठघरे में लाया जाना चाहिए।
उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय के जिम्मेदार सदस्यों के रूप में यह यह हमारी जिम्मेदारी है कि हम पीड़ितों के दुख को याद रखें और आतंकवादियों को न्याय दिलाने के प्रयासों में जुटे रहें।
जयशंकर ने सोशल मीडिया पर शेयर किए एक शॉर्ट वीडियो में कहा कि जब आतंकवाद की बात आती है तो भारत इसे कभी नजरअंदाज नहीं करेगा।
जयशंकर ने कहा कि हम कभी समझौता नहीं करेंगे और न्याय सुनिश्चित करने के अपने प्रयास को कभी नहीं छोड़ेंगे। एजेंसियां