Haryana Nuh Violence : केंद्र द्वारा नूंह में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) की दंगा-रोधी इकाई त्वरित कार्रवाई बल (आरएएफ) की एक नई बटालियन को मंजूरी दिए जाने के लगभग 5 साल बाद हरियाणा सरकार ने आखिरकार इसके लिए जमीन को मंजूरी दे दी। सरकार ने बटालियन के लिए जमीन की मंजूरी ऐसे समय दी है जब जिले में सांप्रदायिक झड़पें हुई हैं।
यह जानकारी आधिकारिक सूत्रों ने बुधवार को दी। हरियाणा सरकार ने बटालियन के लिए जमीन की मंजूरी ऐसे समय दी है जब जिले में सांप्रदायिक झड़पें हुई हैं। नूंह के इंद्री गांव में लगभग 50 एकड़ जमीन त्वरित कार्रवाई बल (आरएएफ) को सौंपने की मंजूरी इस सप्ताह की शुरुआत में मिली।
उन्होंने बताया कि जमीन चिह्नित कर ली गई थी लेकिन बल द्वारा इसके उपयोग पर अंतिम घोषणा पिछले एक वर्ष से अधिक समय से प्रतीक्षित थी। उन्होंने कहा कि जमीन पर कब्ज़ा लेने की प्रक्रिया जल्द होगी, जिसके बाद किसी गणमान्य व्यक्ति द्वारा शिलान्यास किया जाएगा।
सूत्रों ने कहा कि बटालियन के लिए कार्यालय और आवास बुनियादी ढांचे और अन्य बुनियादी सुविधाओं के निर्माण में कुछ और साल लगेंगे। केंद्र सरकार ने 2018 में घोषणा की थी कि आरएएफ की पांच और बटालियन गठित की जाएंगी, जो वाराणसी (उत्तर प्रदेश), जयपुर (राजस्थान), शिवमोग्गा (कर्नाटक), हाजीपुर (बिहार) और नूंह में स्थित होंगी।
इन पांच और इकाइयों के साथ आरएएफ बटालियन की कुल संख्या बढ़कर 15 हो जाएगी। दस अन्य बटालियन हैदराबाद, अहमदाबाद, इलाहाबाद, मुंबई, दिल्ली, अलीगढ़, कोयंबटूर, जमशेदपुर, भोपाल और मेरठ में स्थित हैं।
अधिकारियों ने कहा कि नूंह बटालियन जिले के एक पुलिस थाने में तैनात एक छोटी इकाई सहित अन्य स्थानों से काम कर रही थी। हरियाणा के नूंह में सोमवार को विश्व हिंदू परिषद की शोभायात्रा को रोकने की कोशिश को लेकर सांप्रदायिक हिंसा शुरू हो गई। बाद में हिंसा पड़ोसी गुरुग्राम और अन्य स्थानों पर फैल गई।
हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने बुधवार को कहा कि हिंसा में अब तक छह लोगों की मौत हो चुकी है जबकि 116 लोगों को गिरफ्तार किया गया है और 90 को हिरासत में लिया गया है। राज्य सरकार के अनुरोध पर केंद्र द्वारा नूंह और आसपास के जिलों में आरएएफ की एक दर्जन सहित विभिन्न केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (सीएपीएफ) की बीस कंपनियां तैनात की गई हैं।
आरएएफ की एक बटालियन में करीब 1200 कर्मी होते हैं और ये विरोध प्रदर्शन या दंगे जैसी स्थितियों के मामले में सुरक्षा और कानून व्यवस्था लागू करने के लिए घातक राइफल, उपकरण तथा पंप एक्शन गन, आंसूगैस के ग्रेनेड, पानी बौछार करने वाले वाहन गैर-घातक हथियारों से लैस होते हैं। अक्टूबर, 1992 में आरएएफ का गठन किया गया था और इसे पूर्ण रूप से क्रियाशील किया गया था।
Edited By : Chetan Gour (भाषा)