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Last Updated : सोमवार, 16 अक्टूबर 2023 (11:31 IST)

निठारी कांड में बड़ा फैसला : सुरेंद्र कोली और पंढेर की फांसी की सजा रद्द, क्या थी वजह?

Fansi
Nithari Kand : नोएडा के चर्चित निठारी कांड में कोर्ट ने बड़ा फैसला दिया है। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने निठारी कांड में दोषी करार दिए गए सुरेंद्र कोली और मनिंदर सिंह पंढेर को कई मामलों में बरी कर दिया है। सुरेंद्र कोली को 12 और मनिंदर सिंह पंढेर को दो मामलों में मिली फांसी की सजा को हाईकोर्ट ने रद्द कर दी है। हाईकोर्ट ने गाजियाबाद की सीबीआई कोर्ट द्वारा सुनाई गई फांसी की सजा की रद्द की। हाईकोर्ट ने दोनों आरोपियों को इन मामलों में बरी किया।

बता दें कि हाईकोर्ट ने दोनों दोषियों की 14 अर्जियों पर फैसला सुनाया है। सुरेंद्र कोली ने 12 मामलों में मिली फांसी की सजा के खिलाफ अपील दाखिल की थी। वहीं, मनिंदर सिंह पंढेर ने दो मामलों में मिली सजा के खिलाफ अर्जी दाखिल की थी।

कोई सबूत और गवाह नहीं : बता दें कि हाईकोर्ट ने सीधे तौर पर कोई सबूत और गवाह नहीं होने के आधार पर दोनों दोषियों को बरी किया है। इलाहाबाद हाईकोर्ट के इस फैसले से सीबीआई को बड़ा झटका लगा है। हालांकि रिंपा हलदर मर्डर केस में हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट दोनों ने ही सुरेंद्र कोहली की फांसी की सजा को बरकरार रखा था, क्योंकि इन्हीं सबूतों के आधार पर रिंपा हलदर मर्डर केस में दोनों को फांसी की सजा मिली थी।

अर्जियों पर हाईकोर्ट ने सुनवाई पूरी होने के बाद अदालत ने 15 सितंबर को अपना फैसला रिजर्व कर लिया था। जस्टिस अश्विनी कुमार मिश्रा और जस्टिस एस एच ए रिजवी की डिवीजन बेंच ने फैसला सुनाया। साल 2006 में निठारी कांड का खुलासा हुआ था।

हाईकोर्ट में 134 कार्य दिवसों में अपील पर सुनवाई हुई थी। सुरेंद्र कोली की मौजूदा बारह में से पहली याचिका साल 2010 में दाखिल की गई थी। हालांकि इन याचिकाओं के अलावा भी हाईकोर्ट कोली की कुछ अर्जियों को निस्तारित कर चुका है। एक मामले में फांसी की सजा को बरकरार रखा गया है जबकि एक अन्य मामले में देरी के आधार पर उसे उम्र कैद में तब्दील किया जा चुका है।
Edited By Navin rangiyal
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