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Last Updated : शनिवार, 13 नवंबर 2021 (18:20 IST)

ये है दुनिया का सबसे प्री-मेच्‍यौर जीवित बेबी, इतने दिनों रहा अस्‍पताल में, बनाया ये रिकॉर्ड

ये है दुनिया का सबसे प्री-मेच्‍यौर जीवित बेबी, इतने दिनों रहा अस्‍पताल में, बनाया ये रिकॉर्ड - Curtis Means, Guinness World Records, Premature Baby
दुनिया में बहुत से बच्चे समय से पहले पैदा हो जाते हैं। पूरी तरह से विकसित न होने की वजह से ज्यादातर बच्चे जीवित नहीं रह पाते। लेकिन, एक अमेरिकी लड़का जो केवल 21 सप्ताह और एक दिन में पैदा हुआ था, उसका नाम जीवित रहने के लिए दुनिया के सबसे प्र‍ी-मेच्‍यौर बेबी के तौर पर दर्ज किया गया है।

पिछले साल जब उसका जन्म अलबामा में हुआ था, तो कर्टिस मीन्स का वजन महज 420 ग्राम था। गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड्स ने पुष्टि की कि कर्टिस, जो अब एक स्वस्थ है और 16 महीने का है, उसने जीवित रहने की सभी बाधाओं को हराते हुए एक नया विश्व रिकॉर्ड बनाया है।

जन्म के समय बच्चे का वजन आधा किलोग्राम से भी कम था। हालांकि डॉक्टरों की देखरेख में बच्चा जीवित बच गया और अब स्वस्थ है। ब्रिटेन के बर्मिंघम में अलाबामा में एक साल पहले कर्टिस मीन्स का जन्म हुआ था।

आमतौर पर बच्चे का जन्म 9वें या 10वें महीने में होता है, लेकिन कर्टिस मीन्स का जन्म सिर्फ पांचवें महीने (21 सप्ताह) में ही हो गया था। इस तरह कर्टिस का जन्म सामान्य बच्चों से करीब 19 सप्ताह पहले ही हो गया।

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक कर्टिस की मां मिशेल बटलर ने जुड़वां बच्चों को जन्म दिया था, लेकिन उनमें से सिर्फ कर्टिस की ही जान बच सकी। जुलाई 2020 में जब उन्हें प्रसव पीड़ा महसूस होने पर अस्पताल में भर्ती कराया गया। इसके अगले दिन ही मिशेल ने प्रीमेच्योर ट्विंस कर्टिस और सी'अस्या को जन्म दिया। लेकिन, जन्म के एक दिन बाद ही सी'अस्या की मौत हो गई।

इतने कम समय में पैदा होने वाले बच्चों के बचने का चांस एक फीसदी से भी कम होता है और कर्टिस उन्हीं खुशकिस्मत बच्चों में था। कर्टिस को कई दिनों तक आईसीयू में रहना पड़ा। करीब।3 महीने बाद कर्टिस को वेंटिलेटर से हटाया गया और अस्पताल में 275 दिन बिताने के बाद उसे छुट्टी दे दी गई। हालांकि मुश्किलें अभी खत्म नहीं हुई थीं।

कर्टिस ना ही मुंह से सांस ले सकता था और ना ही खाना खा सकता था। डॉक्टरों ने उसे ये दोनों चीजें करना सिखाया। कर्टिस अब 1 साल से अधिक का हो चुका है, लेकिन आज भी उसे सप्लिमेंटल ऑक्सीजन और एक फीडिंग ट्यूब की जरूरत पड़ती है। 
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