शुक्रवार, 15 नवंबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. सामयिक
  2. बीबीसी हिंदी
  3. बीबीसी समाचार
  4. Croens disease, croens, sex
Written By

'मेरे लिए इस हद तक डरावना है सेक्स'

'मेरे लिए इस हद तक डरावना है सेक्स' - Croens disease, croens, sex
क्रोन्स बीमारी के साथ जीना ज़िंदगी की बेहद मुश्किल जंग है। इस बीमारी में मल-मूत्र को निकालने के लिए पेट में अलग से छेद (स्टोमा) करना पड़ता है। इसके बाद आपको हमेशा एक बैग लटकाए रखना पड़ता है। 
 
एक रिपोर्ट के मुताबिक, इस बीमारी से भारत में भी तीन लाख लोग पीड़ित हैं। क्रोन्स से पीड़ित लोगों के लिए सेक्स कितना मुश्किल है? पढ़िए, स्टोमा के साथ जी रहीं जस्मिन की कहानी उन्हीं की जुबानी-
 
हाय। मेरा नाम जस्मिन है और मैं हमेशा एक बैग पहने रहती हूं ताकि उसमें मल-मूत्र आ सके। यह कोई मज़े वाली बात नहीं है, अगर आपकी आंत का आकार सामान्य नहीं हो तो?
 
ऐसे में आपको स्थायी रूप से एक बैग किसी अंग की तरह साथ लगाए रखना होता है ताकि मल-मूत्र को उसमें रोक सकें। इस स्थिति में आपकी सेक्स लाइफ आसान नहीं होती। निश्चित तौर पर यह हमारे लिए बिल्कुल अलग है। जब मैं 10 साल की थी, तब से ही क्रोन्स बीमारी से पीड़ित थी। इस बीमारी से पीड़ित होने का मतलब है कि आप दर्द से कभी उबर नहीं पाएंगे।
 
मैं एक दिन में क़रीब 25 बार शौचालय जाती थी। ख़ून और बलगम से भरी दस्त होती थी। लगातार इतना ख़ून निकलने से मैं ख़ुद को कमज़ोर महसूस करती थी। मेरे लिए स्कूल और यूनिवर्सिटी जाना भयावह रहा। मेरे लिए एक साल में कई हॉस्पिटलों का चक्कर लगाना आम बात थी।
 
आख़िरकार 20 साल की उम्र में मैं पूरी तरह से हार गई। डॉक्टरों ने कहा कि इसमें सर्जरी के अलावा कोई उपाय नहीं है। छोटी आंत के कारण मल-मूत्र को निकालने के लिए दूसरी राह की तलाश करनी पड़ी। मेरे पेट में एक सुराख किया गया। इस सुराख को स्टोमा कहते हैं। इसी के ज़रिए मल-मूत्र निकलते हैं और मुझे इस वजह हमेशा एक बैग लटकाए रखना होता है।
 
मैं जितनी बुरी चीज़ों की कल्पना कर सकती हूं वैसा ही यह बैग है। लेकिन डॉक्टरों का कहना है कि इस बैग के ज़रिए ही ख़ुद को ज़िंदा रखा जा सकता है। साढ़े ग्यारह घंटे के ऑपरेशन के बाद मुझे एक 'बार्बी बट' मिला। मतलब मेरा कोई नितम्ब नहीं है। मेरी बड़ी आंत और मलाशय बुरी तरह से समस्याग्रस्त थे इसलिए उन्हें पूरी तरह से हटा दिया गया।
 
बैग जब भर जाता है तो मुझे इसे खाली करना पड़ता है। यह कितना मुश्किल काम है इसे आप समझ सकते हैं। लेकिन यह वो बीमारी नहीं है जिसके बारे में लोग बात करते हैं। आपके साथ एक बैग का होना एक वास्तविक कलंक है।
 
ऐसे में सवाल उठता है कि सेक्स के दौरान इस बैग को कैसे संभाला जाता है? इसके लिए उचित समय क्या है? ऐसे कई तरह के सवाल हैं जो लोगों के मन में उठते हैं।
 
ऑपरेशन के बाद मेरे शरीर में आत्मविश्वास आया। मुझे लगता था कि मैं अकेली हूं। मुझे लगता था कि 20 साल की उम्र में ही ऐसा क्यों है? मैं सोचती थी कि मेरे लिए अब सेक्स नहीं है। सर्जरी के बाद मैं डेटिंग को लेकर एक साल तक सोचती रही। सेक्स के बार में सोचना मेरे लिए डरावना था। आख़िर मुझसे किसी को प्रेम क्यों होता?
 
लेकिन फिर मैंने सोचा कि आप मेरे साथ डेट इसलिए नहीं करेंगे कि मेरे पास बैग है तो मैं भी उस शख़्स से डेट नहीं करना चाहती। निश्चित तौर पर मुझसे कुछ लोगों ने कहा कि वे इसे संभाल नहीं सकते हैं। मैं जिन हालात में हूं, उसे बिना स्वीकार किए किसी के लिए मेरे जीवन में जगह नहीं है।
 
सर्जरी के कारण कुछ जटिलताएं हैं जिसकी वजह से मेरे लिए सेक्स के दौरान कुछ मुद्राएं असहज हो सकती हैं। शारीरिक रूप से और चीज़ें बिल्कुल ठीक हैं। सबसे बड़ी बाधा मानसिक है।
 
ज़ाहिर सी बात है कि यहां कई ऐसी चीज़ें हैं जिन्हें लेकर सतर्क रहने की ज़रूरत है। बैग काफ़ी मजबूत होता है और इसे बंद करने के लिए कड़ी मेहनत करनी होती है। आपको यह सुनिश्चित करना होता है कि बैग गिरे नहीं। कोई नहीं चाहेगा कि बिस्तर पर बैग लीक कर जाए। बैग ख़ासकर चमकीला नहीं है, लेकिन वह नग्न त्वचा पर होता है ऐस में यह हल्का फिसल सकता है।
 
आप इममें थोड़ा फेरबदल कर सकते हैं। मतलब अंतरंग होने से पहले इसे खाली कर सकते हैं। उसमें कुछ ख़ुशबू डाल सकते हैं। मल-मूत्र रोकने के लिए कोई गोली ली जा सकती है। यह सब कुछ नियंत्रण स्थापित करने के लिए है।
 
मेरे लिए महत्वपूर्ण मोड़ तब आया जब मैंने अपने अंडरवियर को ख़ास बनाना शुरू किया। मैं चाहती थी कि कुछ सेक्सी लगे ताकि मेरा आत्मविश्वास लौट सके। साल 2015 में एक अंडरवियर कंपनी की स्थापना के बाद कई चीज़ें सकारात्मक हुईं।
 
मैं अब भी सिंगल हूं लेकिन सबसे अहम सबक मैंने यह सीखा है कि ख़ुद से प्यार और ख़ुद को स्वीकार कैसे करना चाहिए यह अहम है, चाहे स्टोमा हो या नहीं हो।
ये भी पढ़ें
भारत-चीन विवाद पर क्या कह रहे हैं भारत में रहने वाले चीनी लोग