11 हजार दीयों की रोशनी से जगमगा उठा अटल घाट, हरिद्वार, काशी व चित्रकूट की तर्ज पर हुई गंगा आरती
कानपुर।उत्तर प्रदेश के कानपुर में भी अब हरिद्वार, काशी व चित्रकूट की तरह रोज शाम गंगा आरती का सुखद अनुभव प्राप्त करने का मौका कानपुर के लोगों को मिलेगा, जिसको लेकर मंडलायुक्त डॉ. राजशेखर के निर्देशन में अटल घाट पर आज पहली बार कोविड-19 प्रोटोकॉल के तहत गंगा आरती का आयोजन ट्रायल के तौर पर किया गया है, जिसमें कैबिनेट मंत्री सतीश महाना के साथ मेयर प्रमिला पांडे व मंडलायुक्त डॉ.राजशेखर ने गंगा आरती कर आयोजन का शुभारंभ किया।
इस आयोजन से पहली बार 11 हजार दीए की रोशनी से अटल घाट जगमगा उठा। इस दौरान कोरोना संक्रमण को देखते हुए गंगा आरती के दौरान अधिकतम 100 लोग ही उपस्थित रहे। इन 100 लोगों में क्षेत्र के सांसद, विधायक, मंत्री और अन्य गणमान्य लोग शामिल हुए।
आरती पूरे विधि-विधान से की गई और अटल घाट 11 हजार दीपों की रोशनी से जगमगा उठा और यह अद्भुत नजारा मौके पर मौजूद लोगों को हरिद्वार, काशी व चित्रकूट की गंगा आरती का अहसास करा रहा था तो वहीं काशी की तर्ज पर पुरोहितों के लिए आसन भी लगाए गए था। शाम होते-होते कानपुर के अटल घाट का नजारा बेहद सुंदर और अलग नजर आ रहा था।
जाग उठी उम्मीद :कानपुर में हरिद्वार, काशी व चित्रकूट की तर्ज पर पहली बार 11 हजार दीयों की रोशनी में अटल घाट पर गंगा आरती का भव्य आयोजन किया गया और यह भव्य आयोजन मंडलायुक्त डॉ. राजशेखर के
निर्देशन में शुरू किया गया है।
कानपुर में गंगा आरती का यह आयोजन ट्रायल के तौर पर किया गया था, लेकिन इसकी सफलता के बाद गंगा आरती के आयोजन को अटल घाट पर नियमित किए जाने की तैयारियों को पंख मिल गए हैं।
जल्द ही जिला प्रशासन या किसी अन्य संस्था की देखरेख में गंगा आरती कार्यक्रम रोज शाम को पांच बजे से एक घंटे के लिए किए जाने की व्यवस्था की जा रही है। जिसके लिए मौके पर मौजूद मंत्रियों से लेकर व्यापारियों ने आगे बढ़कर इस आयोजन को रोज कराने के लिए जिला प्रशासन का सहयोग करने की बात भी कही गई है।
क्या बोले मंडलायुक्त : कानपुर के मंडलायुक्त डॉ. राजशेखर ने बताया कि इस ट्रायल आरती की सफलता को देखते हुए, नगर निगम एक 'गंगा आरती आयोजन समिति' की स्थापना करेगा।समिति वाराणसी और हरिद्वार का भ्रमण कर आरती का अध्ययन करेगी।
अगले 6 महीनों के लिए एक महीने में एक दिन आरती की योजना बनाएगी और फिर अगले छह महीनों के लिए हर सप्ताह एक आरती करेगी। एक वर्ष के बाद, एक बार जब चीजें स्थिर हो जाएंगी, तो अटल घाट पर हर दिन आरती की जाएगी। इससे स्वच्छ और अविरल गंगा के बारे में जागरूकता के साथ-साथ कानपुर के पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।