अयोध्या के सीताराम मंदिर में इफ्तार पार्टी, महंत ने पेश की सांप्रदायिक सौहार्द की मिसाल
नई दिल्ली। रमजान के पवित्र माह में सांप्रदायिक सौहार्द की मिसाल कायम करते हुए अयोध्या के श्री सीताराम मंदिर में सोमवार को इफ्तार का आयोजन किया गया। सोशल मीडिया पर भी यह इफ्तार पार्टी चर्चा का विषय बन गई।
मंदिर के पुजारी युगल किशोर ने एएनआई को बताया कि हमने यह आयोजन लगातार तीसरे साल किया। मैं आगे भी इस तरह के आयोजन करता रहूंगा। हमें हर त्यौहार इसी उत्साह के साथ मनाना चाहिए।
इफ्तार पार्टी में शामिल होने वाले मुजम्मिल फिजा ने बताया कि इसी तरह की भावनाओं को ध्यान में रखते हुए, वह हर साल अपने हिंदू भाइयों के साथ नवरात्रि भी मनाते हैं।
सोशल मीडिया पर भी यह इफ्तार पार्टी चर्चा का विषय बन गई। कुछ लोगों ने इस इफ्तार को लेकर खुशी जाहिर की तो कुछ का कहना था कि इस सेकुलरिज्म का नुकसान होगा। वहीं कुछ लोगों ने बताया कि वह तो यह कार्य पिछले कई सालों से कर रहे हैं।
शिवम मिश्रा ने इस पर अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि इस ट्वीट पर तथाकथित हिंदुओं का कहना है कि मस्जिद में कभी जगराता नहीं हो सकता। मेरा इस पर कहना है कि वे मंदिर में नमाज नहीं पढ़ रहे थे। वे यहां केवल भोजन कर रहे थे। वशंज अग्रवाल ने बताया कि वह तो यह काम 2005 से यानी पिछले 14 सालों से कर रहे हैं। हालांकि कुछ लोगों ने इस इफ्तार पार्टी पर कड़ी प्रतिक्रिया भी व्यक्त की।
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