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Written By WD Feature Desk
Last Modified: सोमवार, 31 मार्च 2025 (18:17 IST)

देश की पहली हाइड्रोजन ट्रेन का ट्रायल शुरू, जीरो कार्बन उत्सर्जन के अलावा जानें क्या है खासियत

bhartiya rail
Hydrogen Train: देश में लगातार तकनीक के क्षेत्र में नए प्रयोग हो रहे हैं। इसी दिशा में एक और कदम बढ़ाते हुए देश की पहली हाइड्रोजन ट्रेन का ट्रायल हरियाणा के जींद-सोनीपत रूट पर शुरू किया गया। पर्यावरण के अनुकूल बनी ये ट्रेन चेन्नई की इंटीग्रल कोच फैक्ट्री (ICF) द्वारा तैयार की गई है। इसे 89 किलोमीटर के इस रूट पर ट्रायल के लिए शुरू किया जा रहा है। भारतीय रेलवे के विशेष प्रोजेक्ट ‘हाइड्रोजन फॉर हेरिटेज’ के तहत यह ट्रेन हरित परिवहन की दिशा में एक बड़ा कदम है। आइए, जानते हैं इस ट्रेन की खासियत।

हाइड्रोजन ट्रेन कैसे काम करती है?
हाइड्रोजन ट्रेन पारंपरिक डीजल ट्रेनों का एक पर्यावरण-अनुकूल विकल्प है जो कि हाइड्रोजन ईंधन सेल तकनीक पर काम करती है। जैसा कि नाम से समझ में आता है इस ट्रेन में ईंधन के रूप में हाइड्रोजन गैस का इस्तेमाल किया जाता है, जो ऑक्सीजन के साथ मिलकर बिजली पैदा करती है। इस प्रक्रिया में हाइड्रोजन और ऑक्सीजन एक फ्यूल सेल में रासायनिक प्रतिक्रिया करते हैं, जिससे बिजली उत्पन्न होती है।

यह बिजली ट्रेन के इलेक्ट्रिक मोटर को चलाने के लिए उपयोग की जाती है। इस पूरी प्रोसेस के फलस्वरूप एकमात्र उप-उत्पाद पानी (H₂O) बनता है, और इस तरह से यह ट्रेन शून्य कार्बन उत्सर्जन करती है। हाइड्रोजन ट्रेनें डीजल ट्रेनों की तुलना में ज़्यादा एनर्जी सेविंग मानी जाती हैं। इस तकनीक से न केवल पर्यावरण को साफ रखने में मदद मिलती है बल्कि शोर प्रदूषण को भी कम होता है।

क्या है हाइड्रोजन ट्रेन की खासियत?
जीरो कार्बन उत्सर्जन: हाइड्रोजन ट्रेनें पर्यावरण की दृष्टि से बहुत अनुकूल हैं। चूंकि इनका एकमात्र उत्सर्जन पानी है, जो इसे हरित परिवहन का एक आदर्श विकल्प बनाता है, साथ ही ये कार्बन डाइऑक्साइड या अन्य हानिकारक गैसों का उत्सर्जन नहीं करतीं।

उच्च क्षमता और हाई स्पीड: हाइड्रोजन ट्रेन 1200 हॉर्सपावर की पावर के साथ 110 किलोमीटर प्रति घंटे की तेज रफ्तार चल सकतीहै। इस ट्रेन में एक बार में 2638 यात्रि सफर कर सकते हैं। इस प्रकार ये ट्रेन यात्री परिवहन के लिए बहुत उपयोगी है।

लंबी दूरी की यात्रा के लिए उपयुक्त: इस ट्रेन में कुल 8 कोच हैं जो इसे दुनिया की सबसे लंबी हाइड्रोजन ट्रेनों में से एक बनाता है। यह लंबी दूरी के रूट्स पर भी प्रभावी ढंग से काम कर सकती है। हेरिटेज और पहाड़ी मार्गों पर इसका बेहतर उपयोग किया जा सकता है।

ऊर्जा दक्षता: हाइड्रोजन फ्यूल सेल तकनीक डीजल इंजनों की तुलना में अधिक ऊर्जा-कुशल है। यह ट्रेन कम ईंधन में ज्यादा दूरी तय कर सकती है, जिससे लागत काफी कम आती है।

क्लीन और नॉइस फ्री: हाइड्रोजन ट्रेनें डीजल ट्रेनों की तुलना में बहुत कम शोर पैदा करती हैं, जिससे यात्रियों को एक शांत और आरामदायक यात्रा का अनुभव मिलता है।

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