हरियाणा के चुनावी दंगल में कांग्रेस का सुरक्षित दांव,सीटिंग विधायकों के साथ दिग्गजों पर दांव, AAP से गठबंधन की भी संभावना
हरियाणा विधानसभा चुनाव के लिए कांग्रेस ने अब तक 41 उम्मीदवारों के नामों का एलान कर दिया है। भाजपा में टिकट बंटवारे के बाद मचे घमासान के सबक लेते हुए कांग्रेस ने विधानसभा चुनाव में अपने सभी सीटिंग 28 विधायकों को टिकट देने के साथ दिग्गजों को भी चुनावी मैदान में उतारा है। वहीं कांग्रेस सूबे में आम आदमी पार्टी के साथ गठबंधन की संभावना तलाश रही है, जिस पर आज या कल में अंतिम मोहर लग सकती है।
कांग्रेस का विधानसभा चुनाव में सुरक्षित दांव-हरियाणा में 10 साल से सत्ता में काबिज भाजपा को इस बार विधानसभा चुनाव में सत्ता से बेदखल करने के लिए कांग्रेस सुरक्षित दांव लगाती हुई दिख रही है। कांग्रेस ने विधानसभा चुनाव की पहली सूची में ही सभी सीटिंग 28 विधायकों को टिकट देने के साथ दिग्गजों को भी चुनावी मैदान में उतारा। वहीं विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने दिग्गजों को चुनावी मैदान में उतारते हुए राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा को गढ़ी सांपला-किलोई, पहलवान विनेश फोगाट को जुलाना और राज्य इकाई के प्रमुख उदयभान को होडल सीट से उम्मीदवार बनाया गया। इसके साथ कांग्रेस ने जींद की उचाना चर्चित सीट से बृजेंद्र सिंह को चुनावी मैदान में उतारा है, जहां उनका मुकाबला जजपा नेता और पूर्व डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला से होगा। हरियाणा में गुटबाजी थामने के लिए पार्टी ने अपनी पहली सूची में कुमारी सैलजा गुट के 4 नेताओं को भी टिकट दिया है।
इसके साथ ही कांग्रेस ने चुनाव में पैराशूट उम्मीदवारों को भी उम्मीदवार बनाया है। पार्टी ने जजपा से आए रामकरण को शाहाबाद और निर्दलीय विधायक धर्मपाल को नीलोखेड़ी को उम्मीदवार बनाया है। इसके साथ पार्टी ने उन तीन विधायकों को भी उम्मीदवार बनाया है जिन पर ईडी के केस चल रहे है। कांग्रेस के तीन विधायक सुरेंद पंवार, रावदान सिंह और धर्म सिंह छौक्कर के खिलाफ ईडी की जांच हो रही है और पार्टी ने सभी को उम्मीदवार बनाया है।
भाजपा में बगावत से कांग्रेस सतर्क- 5 अक्टूबर होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए जब सूबे में नामांकन की प्रक्रिया शुरु हो चुकी है तब कांग्रेस ने अब तक 49 सीटों उम्मीदवारों के नामों को अभी भी होल्ड पर रखा है। इसका सबसे बड़ा कारण पार्टी में भीतरघात और बागवत को रोकना है। वहीं कांग्रेस की उम्मीदवारों की पहली सूची जारी होने के बाद प्रदेश प्रभारी दीपक बाबरिया ने इमोशनल दांव चलते हुए कहा कि मैंने तो कोशिश की है कि कांग्रेस के लोगों को ही प्राथमिकता मिले लेकिन मुझे लगता है मैं शत-प्रतिशत आपके भरोसे पर खरा नहीं उतरा। इसके साथ दीपर बाबरिया इमोशनल हो गए।
अगर देखा जाए तो हरियाणा विधानसभा चुनाव में भाजपा ने अब तक 67 सीटों पर उम्मीदवारों का एलान किया है जिसमें 17 सीटों पर पार्टी को बगावत का सामना करना पड़ रहा है। वहीं कांग्रेस ने जिन 41 सीटों पर उम्मीदवारों के नामों का एलान किया है उसमें 4 सीटों पर टिकट के अन्य दावेदारों ने विरोध के सुर बुलंद कर दिए है। कांग्रेस को शाहाबाद, गोहाना, बवानी खेड़ा और पानीपत ग्रामीण सीट पर विरोध का सामना करना पड़ रहा है।
AAP के साथ गठबंधन के संकेत-हरियाणा विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की पूरी कोशिश है कि भाजपा विरोधी वोटरों के बिखराव को रोखा जा सके। इसलिए कांग्रेस राज्य में आम आदमी पार्टी के साथ गठबंधन की संभावना तलाश रही है। बताया जा रहा है कि कांग्रेस ने आम आदमी पार्टी को 5 से 7 सीटें देने का प्रस्ताव रखा है, वहीं आम आदमी पार्टी 10 के करीब सीटों की मांग कर रही है। गठबंधन को लेकर कांग्रेस के प्रदेश प्रभारी दीपक बाबरिया और आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद राघव चड्डा लगातार बातचीत कर रहे है। वहीं अब दोनों ही नेता राज्य में जल्द गठबंधन के संकेत दिए है।