गुरुवार, 19 दिसंबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. समाचार
  2. व्यापार
  3. समाचार
  4. Adani Total Gas Limited will invest 20,000 crores
Written By
Last Updated : गुरुवार, 29 जून 2023 (12:37 IST)

Adani टोटल गैस लिमिटेड 8-10 वर्षों में 20,000 करोड़ का करेगी निवेश, बढ़ाएगी सीएनजी स्टेशन

Adani टोटल गैस लिमिटेड 8-10 वर्षों में 20,000 करोड़ का करेगी निवेश, बढ़ाएगी सीएनजी स्टेशन - Adani Total Gas Limited will invest 20,000 crores
नई दिल्ली। अडाणी समूह और फ्रांसीसी कंपनी टोटलएनर्जीज की संयुक्त उद्यम अडाणी टोटल गैस लिमिटेड अगले 8-10 वर्षों में गैस वितरण के लिए बुनियादी ढांचा खड़ा करने पर 20,000 करोड़ रुपए तक का निवेश करेगी। अडाणी टोटल गैस लिमिटेड (एटीजीएल) की वार्षिक रिपोर्ट में कहा गया है कि वाहनों के लिए सीएनजी की खुदरा बिक्री और घरों एवं उद्योगों को पाइप से गैस पहुंचाने के लिए बुनियादी ढांचे के विस्तार पर अगले  8 से 10 वर्षों में 18,000 करोड़ रुपए से लेकर 20,000 करोड़ रुपए तक का निवेश किया जाएगा।
 
कंपनी देश के 124 जिलों में वाहनों के लिए सीएनजी की खुदरा बिक्री करने के अलावा पाइप से घरेलू रसोई गैस की आपूर्ति भी करती है। देश में इसके 460 सीएनजी स्टेशन हैं और पाइप से रसोई गैस के करीब 7 लाख उपभोक्ता हैं। नवीनतम वार्षिक रिपोर्ट के मुताबिक कंपनी ने अतिरिक्त बुनियादी ढांचे के निर्माण पर वित्त वर्ष 2022-23 में 1,150 करोड़ रुपए से अधिक का निवेश किया है।
 
कंपनी के मुख्य वित्तीय अधिकारी (सीएफओ) पराग पारिख ने कहा कि दीर्घकालिक नजरिए से हम गैस कारोबार की संभावनाओं को लेकर आशावादी हैं। कंपनी बुनियादी ढांचे के निर्माण और नेटवर्क के विस्तार में अधिक निवेश करने पर विचार कर रही है। उन्होंने कहा कि अपने शहरी गैस वितरण कारोबार के लिए अगले 8-10 वर्षों में बुनियादी ढांचे के निर्माण के लिए हमारा लगभग 18,000-20,000 करोड़ रुपए का निवेश करने का इरादा है। यह हमारे ग्राहक आधार को व्यापक बनाने के साथ राजस्व वृद्धि को कायम रखेगा।
 
एटीजीएल के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) सुरेश पी. मंगलानी ने कहा कि कंपनी की रणनीति अपने लाइसेंस वाले इलाकों में स्टील पाइपलाइन बिछाने में तेजी लाने और सीएनजी स्टेशन बढ़ाने की है। उन्होंने कहा कि कंपनी अगले 7 से 10 वर्षों में 1,800 से अधिक सीएनजी स्टेशन बनाने जा रही है।(भाषा)
 
Edited by: Ravindra Gupta
ये भी पढ़ें
केंद्र के प्रयासों के कारण बच्चों और सशस्त्र संघर्ष पर UN रिपोर्ट से भारत का नाम हटा