को-एज्युकेशन
- एमके सांघी
प्रश्न : दद्दू, क्या आपको कभी अफसोस होता है कि आपके जमाने के स्कूल में को-एज्युकेशन नहीं होती थी। उत्तर : आपकी सोच गलत है। हमारे जमाने के सरकारी स्कूलों में भी को-एज्युकेशन होती थी यानी अमीर और गरीब बच्चे एक ही स्कूल में एक ही बेंच पर बैठ कर साथ-साथ पढ़ते थे और हां मेरे जीवन में मेरे साथ पढ़े गरीब तबके के लड़के कक्षा के अमीर परिवार के लड़कों के मुकाबले बेहतर और नि:स्वार्थ दोस्त साबित हुए। दद्दू को अपनी सरकारी स्कूल की शिक्षा पर गर्व है।