भारत एक विविध संस्कृति वाला देश है। जहां की संस्कृति, कला, मान्यताएं, अनूठे रीति-रिवाज बल्कि मौसम भी प्रमुख है। देश में आज कई ऐसे व्यक्ति है जो स्वार्थ से परे देश,समाज और दुनिया के हित में अपनी सेवाएं दे रहे हैं। भारत में हर साल शिक्षिका, विज्ञान, खेल, पर्यावरण और अन्य सामाजिक कार्यों के लिए देश के सर्वोच्च सम्मान से सम्मानित किया जाता है। 2021 में देश की 29 महिलाओं को देश के सर्वोच्च सम्मान से सम्मानित किया गया। आइए जानते हैं किस क्षेत्र में किस कार्य के लिए पुरस्कार से सम्मानित किया गया -
1.सुमित्रा महाजन - देश की पूर्व लोकसभा स्पीकर सुमित्रा महाजन उन्हें प्यार से सभी 'ताई' कहकर बुलाते हैं। वह एक जानी-मानी राजनेता हैं। 22 साल की उम्र में ताई की शादी एडवोकेट जयंत महाजन से इंदौर में हुई थी। वे भी एक एडवोकेट हैं। अपनी साफ छवि के लिए प्रसिद्ध ताई के नाम लगातार 8 बार एक ही संसदीय क्षेत्र से जीतने रिकॉर्ड है। जिसे तोड़ना लगभग मुमकिन है। वे साल 1989, 1991, 1996, 1998,1999, 2004, 2009 और 2014 में लगातार 8 बार जीत दर्ज कर चुकी हैं। सर्वोच्च सम्मान पद्म भूषण से सम्मानित किया गया।
2. कृष्णन नायर शांति कुमारी चित्रा - के.एस. चित्रा के नाम से प्रसिद्ध हैं। प्लेबैक सिंगर के.एस. चित्रा ने रीजनल म्यूजिक में बहुत बड़ी भूमिका निभाई है। दक्षिण भारत की बुलबुल कहे जाने वाली के. एस. चित्रा 6 राष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त कर चुकी है। 31 अलग-अलग राज्यों में फिल्म पुरस्कार प्राप्त कर चुकी हैं। उन्होंने मलायालम, कन्नड़, उड़िया, हिंदी, पंजाबी, संस्कृत, तमिल, तेलगु सहित अन्य भाषाओं में अपनी आवाज दी है। उनके द्वारा रीजनल म्यूजिक को बरकरार रखने के लिए पद्म भूषण से सम्मानित किया गया।
3.कंगना रनौत - बॉलीवुड की मशहूर एक्ट्रेस कंगना रनौत को उनकी दमदार एक्टिंग के लिए जाना जाता है। उनकी अधिकतर फिल्म बिना किसी हीरो के ही बनी है। अपने एक्टिंग के साथ ही विभिन्न मुद्दों पर अपनी राय को लेकर अधिक सुर्खियों में बनी रहती है। हालांकि अपनी दमदार एक्टिंग के लिए उन्हें पद्मश्री से नवाजा है। उन्हें फिल्म पंगा और मणिकर्णिका के लिए फिल्म पुरस्कार प्राप्त किया है।
4. एकता कपूर - एंटरटेनमेंट इंडस्ट्री की मशहूर सफल डायरेक्टर, निर्माता, स्क्रिप्ट राइटर, एकता ने छोटे पर्दे से लेकर बॉलीवुड तक अपना परचम लहराया है। छोटे पर्दे पर उन्होंने कई हिट शोज दिए हैं। वह भी 10 से 15 साल तक चले हैं। मनोरंजन की दुनिया ख्याति प्राप्त करने और योगदान के लिए उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
5.पी अनीता - भारत की बास्केट बॉल टीम की पूर्व कप्तान रह चुकी हैं पी. अनीता। उन्होंने करीब दो दशक तक राष्ट्रीय बास्केट बॉल टीम का प्रतिनिधित्व किया। पी अनीता ने अपने नाम एक रिकॉर्ड भी दर्ज किया है। 9 एशियाई चैंपियनशिप में भारत के लिए खेलने वाली महिला खिलाड़ी हैं। खेल क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान के लिए उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
6.मौमा दास - टेबल टेनिस की फास्ट खिलाड़ी मौमा दास को 2013 में अर्जुन पुरस्कार से सम्मानित किया जा चुका है। वे दो ओलंपिक विजेता मौमा कई कॉमनवेल्थ गेम्स भी जीत चुकी है। उन्हें 2021 में पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
7.अंशु जामसेनपा - भारत की पर्वतारोही अंशु ने अपने नाम रिकॉर्ड दर्ज कर सभी को चौंका दिया था। 5 दिन में दो बार माउंट एवरेस्ट पर फतह करने वाली वह दुनिया की पहली महिला है। साथ ही वह 5 बार माउंट एवरेस्ट पर फतह करने वाली पहली भारतीय महिला का दर्जा प्राप्त है। इस साल उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
8. मैरी कॉम - भारतीय महिला मुक्केबाज मैरी कॉम ने देश के लिए पदक हासिल किए हैं। मैरी कॉम को अभी तक अर्जुन पुरस्कार और राजीव गांधी खेल रत्न से सम्मानित किया जा चुका है। साल 2006 में उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया जा चुका है। 5 बार वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियन रह चुकी मैरी कॉम का पद्म विभूषण से सम्मानित किया गया।
9. पीवी सिंधु - पीवी सिंधु बैडमिंटन की खिलाड़ी हैं। सिर्फ 25 साल की उम्र में ही उन्होंने खेल क्षेत्र में कई खिताब अपने नाम कर लिए। दो बार ओलंपिक विजेता रही पीवी सिंधु को पद्म भूषण से सम्मानित किया गया।
10 भूरी बाई - मप्र की रहने वाली भूरी बाई को पद्मश्री सम्मान से नवाजा गया है। इससे पहले वह मप्र सरकार से सम्मान प्राप्त कर चुकी हैं। साथ ही मप्र सरकार से सर्वोच्च पुरस्कार शिखर सम्मान भी मिल चुका हैं। भूरी बाई आदिवासी लोककला अकादमी में में एक कलाकार के तौर पर काम करती हैं।
11. रजनी बेक्टर - घर में बिस्कुट बनाने से लेकर 550 करोड़ रूपए तक तक सफर तय करने वाली रजनी बेक्टर को पद्मश्री से सम्मानित किया गया। अपने सभी प्रोडक्ट में क्रीम का इस्तेमाल किया गया। और इससे प्रेरित होकर क्रेमिका ब्रांड विकसित किया। महिला उद्यमी के रूप में पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
12.लखीमी बरुआही - लखीमी बरूआही असम में सामाजिक कार्यकर्ता हैं। साल 1998 में कोनोकलोटा महिला शहरी सहकारी बैंक की शुरुआत की थी। इस बैंक को शुरुआत करने का एक ही उद्देश्य रहा महिलाओं की मदद करना।
13. संघखुमी बौलचुआक - पद् श्री से सम्मानित संघमुखी बौलचुआक को उनकी सफलता का श्रेय जाता है। मिजोरम में महिलाओं के हक के लिए लड़ना, महिलाओं की कई पॉलिसी को लेकर भी लंबी लड़ाई लड़ी। मिजोरम में किए गए अपने सामाजिक कार्यकर्ताओं के लिए सम्मानित किया गया।
14. बिजॉय चक्रवर्ती - पूर्व भारतीय राजनेता रह चुकी बिजॉय चक्रवर्ती ने राजनीतिक जीवन जनता पार्टी से अपने करियर शुरू किया। 1986 से 1992 तक राज्यसभा सदस्य रहीं। इस दौरान उन्हें कई सार्वजनिक मामलों में योगदान दिया। उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
15. राधा देवी - मणिपुर की प्रसिद्ध पारंपरिक ब्राइडल डिजाइन बनाने वाली राधे देवी के सभी मुरीद है। अधिक उम्र होने के बाद भी वह उनकी कला वक्त के साथ और अधिक निखर गई। उनकी प्रतिभा को देखते हुए पद्मश्री से सम्मानित किया गया है।
16.शांति देवी - ओडिशा की शांति देवी के जज्बे को सलाम। विनोबा भावे के आंदोलन से प्रेरित होकर सामाजिक कार्य में आगे बढ़ी। और देश में अनाथ बच्चे, जरूरत परिवारों की मदद करती हैं।
17. पूर्णमासी जानी - ओडिशा की पूर्णमासी ने कला के क्षेत्र में वो मुकाम हासिल किया जिसके लिए अलग-अलग तरह से शिक्षा लेते हैं। लेकिन कला के क्षेत्र में लगन मात्र से करीब 40 हजार से अधिक भक्ति गीत उन्होंने गाए और लिखे हैं। उन्हें कला के क्षेत्र में अहम योगदान के लिए पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
18. प्रकाश कौर - प्रकाश कौर एक सामाजिक कार्यकर्ता हैं। वे जालंधर में अपनी समाज सेवा देती है। इस कार्य क्षेत्र में अब तक करीब 70 से 80 अनाथ बच्चों और समाज से बाहर निकाल दी गई लड़कियों की मदद करती हैं। और उन्हें जीवन में सही दिशा दिखाती हैं।
19. संजीदा खातून - बांग्लादेशी म्यूजिकॉलिस्ट हैं। कला के क्षेत्र में अपना अहम योगदान और सराहनीय कार्य के लिए पद्म श्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
20. तुलसी गौड़ा - पर्यावरण के संरक्षण के लिए तुलसी गौड़ा ने अपना जीवन ही समर्पित कर दिया। अभी तक उन्होंने अपनी जिंदगी में पर्यावरण की रक्षा करती रही। तुलसी गौड़ा को कई पुरस्कारों से सम्मानित किया जा चुका है। पर्यावरण की रक्षा के लिए उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया गया है।
21.सुश्री लाजवंती - राज्य की पारंपरिक फुलकारी परंपरा को जारी रखने के लिए लाजवंती सतत प्रयास करती रहती है। अपने इस प्रयास के लिए उन्हें फुलकारी परंपरा से सम्मानित किया गया।
22. दुलारी देवी - बिहार का मधुबनी पेंटिंग को आज भी जिंदा रखने में दुलारी देवी का अहम योगदान है। कला के क्षेत्र में इस प्रयास के लिए उन्हें पद्मश्री से नवाजा गया।
23.छुटनी देवी - कई बार अविश्वसनीय प्रतिक्रिया का शिकार होना पड़ता है। अगर 1 या 2 व्यक्ति करते हैं तो प्रतिक्रिया झेलना थोड़ा सरल होता है लेकिन जब समाज का शिकार बन जाएं तो मुसीबत से बाहर निकलना मुश्किल हो जाता है। जब लोग दुलारी देवी को चुड़ैल बोलकर गांव से बाहर कर दिया था लेकिन हार नहीं मानी और बुराई के खिलाफ लड़ाई लड़ी। इस साहसिक कार्य के लिए उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
24.नीरू कुमार - दिल्ली में सामाजिक कार्य में लंबे अरसे से सक्रिय है। इस सम्मान में उन्हें पद्म श्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
25.बॉम्बे जयश्री रामनाथ - संगीत की दुनिया में अपनी आवाज से जादू बिखरने वाली बॉम्बे जयश्री एक जाना माना नाम हैं। बॉम्बे जयश्री ने बंगाली के अलावा तमिल, तेलगु, कन्नड़,हिंदी, मलयालम सहित अन्य भाषाओं में गाने गाए हैं।
26.बिरूबाला राभा - सामाजिक कार्यकर्ता के तौर पर अपनी पहचान रखने वाली बिरूबाला राभा को समाज की छोटी सोच का शिकार होना पड़। छुटनी देवी की तरह ही बिरूबाला राभा को डायन का शिकार होना पड़ा। बिरूबाला को अपने साहसिक कार्य के लिए पद्म श्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
27.विदुषी के. एस. जय लक्ष्मी - संस्कृत के सबसे पुराने दैनिक समाचार पत्रों एक सुधर्मा की संयुक्त संपादक हैं। अपने पति के आकस्मिक निधन के बाद भी उन्होंने यह अखबार का प्रकाशन जारी रखा। और सम्मान प्राप्त करने पर कहां यह मेरे पति और ससुर जी को समर्पित हैं।
28. सिंधुताई सपकाल - सिंधुताई सपाकाल एक मराठी सामाजिक कार्यकर्ता है्ं। उन्हें प्यार से माई कहते हैं। माई ने कई अनाथ बच्चों को जीवनदान देने का कार्य किया है। उनके द्वारा किए गए सामाजिक कार्य के लिए उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
29. सुधा सिंह - धाविका सुधा सिंह के लिए यह विश्वास करना मुश्किल हो रहा था कि उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया। 34 साल की सुधा सिंह ने मिल्खा सिंह, अंजू बॉबी जॉर्ज और पीटी उषा की सूची में शामिल हो गई जिन्हें पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
तो यह है देश के वे महिलाओं जिनसे अन्य को आगे बढ़ने का मोटिवेशन मिलेगा। आज के वक्त कई ऐसी सामाजिक कार्यकर्ता है जो असल में समाज के लिए कार्य कर रहे हैं। और देश को भी इन पर गर्व हैं।