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Last Updated : शुक्रवार, 3 नवंबर 2023 (17:54 IST)

आखिर सांप के जहर का रेव पार्टी में क्या होता है? Elvish Yadav क्‍यों फंसे सांप केस में?

आखिर सांप के जहर का रेव पार्टी में क्या होता है? Elvish Yadav क्‍यों फंसे सांप केस में? - what happens to snake venom in a rave party?
Elvish Yadav Snake Venom Case: बिग बॉस ओटीटी 2 के विनर एल्विश यादव पर सांपों की तस्‍करी के गंभीर आरोप लगे हैं। इतना ही नहीं, उन पर आरोप है कि वो अपने दोस्‍तों के साथ रेव पार्टी करते थे, जहां इन पार्टियों में प्रतिबंधित सांपों के जहर का इस्तेमाल होता है। सांपों के साथ वीडियो शूट करते थे। बता दें कि यह नशा सायकोएक्टिव ड्रग कहलाता है, जिसके इस्‍तेमाल से लाखों लोगों की मौत हो जाती हैं। ऐसे में आखिर क्‍यों पार्टियों में सांप के जहर के नशे का चलन बढ रहा है।

किसने लगाए आरोप : बता दें कि एल्विश यादव पर यह आरोप पीपल फॉर एनिमल संस्था (पेटा) के गौरव गुप्ता ने लगाए हैं। इस मामले में पुलिस ने 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। उन्होंने खुद को यूट्यूबर एल्विश यादव से जुड़े होने की बात कुबूली है। पुलिस को उसके पास से कोबरा समेत अलग-अलग प्रजाति के 9 सांप और सांपों का जहर मिला है।

ऐसे में सवाल उठता है कि आखिर पार्टियों में सांप के जहर का क्या काम? क्‍यों पार्टियों में इस तरह के जहर की जरूरत और मांग होती है।

पिछले कुछ सालों में दुनियाभर में ऐसे कई ड्रग का प्रचलन बढ़ा है जो अल्कोहल एडिक्शन को बढ़ाते हैं। इन दिनों सांप के जहर की भी चर्चा हो रही है। इस तरह के नशे को सायकोएक्टिव पदार्थ कहते हैं। गांवों से लेकर शहरों तक इनका इस्तेमाल होता है। कुछ साल पहले भारत में एक ऐसा भी मामला सामने आया था जिसमें 28 साल के एक युवा ने सांप का जहर पी लिया था। इसकी शुरुआत अल्कोहल में सांप का जहर मिलाने से हुई थी। पहले उसने शराब और जहर को मिलाकर पीना शुरू किया, फिर एडिक्शन इतना बढ़ा कि उसने जहर पी लिया।

किन प्रजातियों का होता है इस्‍तेमाल : नशे के लिए सांपों की कुछ खास तरह की प्रजातियों का इस्तेमाल होता है। इसमें नाजा-नाजा (कोबरा), ऑफियोड्रायस वर्नेलिस (ग्रीन स्नेक) और बंगेकरस केरिलियुस (क्रॉमन क्रैत) शामिल हैं। मुंबई और मंगलुरू समेत देश के कई शहरों में सांप के जहर के एडिक्शन के मामले सामने आ चुके हैं। कई जगहों से इस तरह का नशा बरामद हो चुका है।

क्या हैं सायकोएक्टिव ड्रग : कानूनी तौर पर इनका इस्तेमाल दवा निर्माण और रिसर्च के क्षेत्र में किया जाता है। बिना डॉक्टरी सलाह या प्रिस्क्रिप्शन के इसे खरीदना या किसी को देना कई देशों में अपराध के दायरे में आता है। सांप के जहर को सायकोएक्टिव ड्रग की कैटेगरी में आता है।

क्‍या मिला आरोपियों से : ताजा मामले में एल्विश यादव के केस में पुलिस ने जिन आरोपियों को हिरासत में लिया है उसके पास से कुछ खास प्रजातियों वाले सांप मिले हैं। इनमें 5 कोबरा, एक अजगर, 2 दोगुही सांप, एक रैट स्नेक मिला है। इसके अलावा उनके पास से 25 ml सांप का जहर भी जब्‍त किया गया है। एफआईआर में कहा गया है कि वो सांप और इसके जहर का इस्तेमाल रेव पार्टी में करते थे।

क्‍या खास है सांप के नशे में : रिपोर्ट के मुताबिक सांप के जहर में ऐसे केमिकल होते हैं जो खास तरह की खुशी और मजा देते हैं। शरीर एनर्जी से भर जाता है। इसका नशा कई घंटों बाद भी बना रहता है। कई खबरों में दावा किया गया है कि सांप के जहर की कुछ बूंदों को अल्कोहल में मिलाकर लिया जाता है। इसका इस्‍तेमाल खासतौर से रेव पार्टियों में किया जा रहा है। इस तरह के ड्रग का इस्तेमाल सीधेतौर पर मौत का खतरा बढ़ाता है। WHO की रिपोर्ट के मुताबिक इस तरह के ड्रग का इस्तेमाल मौत की वजह बनता है। 15 से 64 की दुनिया की 5.5 फीसदी (27 करोड़) आबादी ने पिछले साल ऐसे सायकोएक्टिव ड्रग का इस्तेमाल किया। इसमें सालाना 5 लाख लोगों की मौत हो गई। जिसमें 3,50,000 पुरुष और 1,50,000 महिलाएं थीं
Edited By : Navin Rangiyal
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