130 दिन बाद अनशन खत्म करने वाले जगजीत डल्लेवाल ने सरकार से बातचीत को लेकर क्या कहा
Jagjit Singh Dallewal News : किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने सोमवार को कहा कि जब तक सरकार फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य की कानूनी गारंटी सहित उनकी मांगें नहीं मान लेती तब तक किसानों का आंदोलन जारी रहेगा। डल्लेवाल ने कहा कि किसान नेता केंद्र के प्रतिनिधियों के साथ प्रस्तावित 4 मई की बैठक में शामिल होंगे क्योंकि वे सरकार को यह बहाना बनाने नहीं देना चाहते कि किसान बैठक में शामिल नहीं हुए। उन्होंने कहा, हम बैठक में शामिल होंगे और मजबूती से अपनी मांगे रखेंगे। डल्लेवाल ने 130 दिन बाद रविवार को अपनी अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल समाप्त की थी।
उन्होंने कहा कि संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा (केएमएम) द्वारा की जाने वाली एक बैठक में अगली रणनीति तय की जाएगी। वह इन दोनों संगठनों के संयुक्त मंच के वरिष्ठ नेता हैं। एसकेएम (गैर-राजनीतिक) और केएमएम ने पंजाब और हरियाणा के बीच शंभू और खनौरी बॉर्डर पर किसानों की मांगों को लेकर एक साल से अधिक समय तक प्रदर्शन का नेतृत्व किया था क्योंकि सुरक्षाबलों ने उन्हें उनकी मांगों के लिए दिल्ली तक मार्च करने की अनुमति नहीं दी थी।
पुलिस ने 19 मार्च को विरोध स्थल खाली करा दिया था। डल्लेवाल ने पंजाब के फतेहगढ़ साहिब जिले में रविवार को आयोजित किसान महापंचायत को बताया कि उन्होंने संगत के आमरण अनशन समाप्त करने के अनुरोध को स्वीकार कर लिया है। उन्हें खन्ना के एक निजी अस्पताल में जांच कराए जाने के एक दिन बाद सोमवार को छुट्टी दे दी गई थी। किसान नेता ने खन्ना में कहा कि आंदोलन समाप्त नहीं हुआ है।
उन्होंने कहा, यह तब तक जारी रहेगा जब तक एमएसपी के लिए कानूनी गारंटी सहित हमारी मांगें स्वीकार नहीं कर ली जाती हैं। डल्लेवाल ने कहा कि इस आंदोलन के तहत पंजाब के कई हिस्सों में किसान महापंचायतें आयोजित की जा रही हैं। उन्होंने एक सवाल का जवाब देते हुए कहा, आने वाले दिनों में हम दोनों मंचों की बैठक करेंगे और अगली रणनीति पर फैसला करेंगे।
किसानों और केंद्र सरकार के प्रतिनिधियों के बीच चार मई को प्रस्तावित बैठक के बारे में पूछे जाने पर डल्लेवाल ने कहा कि किसान नेता बैठक में शामिल होंगे। उन्होंने कहा कि वे सरकार को यह कहने का कोई बहाना नहीं देना चाहते कि किसान बैठक में शामिल नहीं हुए। डल्लेवाल ने कहा, हम बैठक में शामिल होंगे और मजबूती से अपनी मांगें रखेंगे। (भाषा)
Edited By : Chetan Gour