भीमा-कोरेगांव हिंसा से नरेंद्र मोदी की हत्या की साजिश का क्या कनेक्शन है?
मुंबई। पुणे की भीमा-कोरेगांव हिंसा का आखिर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की हत्या की साजिश से क्या संबंध है? आपको बता दें कि जिस पत्र के जरिए मोदी की हत्या की साजिश का खुलासा हुआ है, वह पत्र भीमा-कोरेगांव हिंसा में शामिल आरोपी रोना जैकब विल्सन के दिल्ली में मुनीरका स्थित फ्लैट से बरामद किया गया।
गौरतलब है कि भीमा-कोरेगांव में इस साल जनवरी में हिंसा भड़क गई थी। इसी हिंसा की जांच के दौरान यह तथ्य सामने आए हैं। पुणे की एक स्थानीय अदालत में पुलिस ने कहा कि इस सिलसिले में गिरफ्तार पांच में से एक आरोपी के घर से ऐसा पत्र बरामद हुआ है, जिससे संकेत यह मिलते हैं कि यहां राजीव गांधी की हत्या जैसी वारदात को अंजाम देने की साजिश रची गई थी। पुलिस का यह भी दावा है कि इनके निशाने पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी थे।
पुलिस ने बुधवार को इस मामले में रोना विल्सन, सुधीर ढावले, सुरेंद्र गाडलिंग सहित पांच लोगों को गिरफ्तार किया था। विल्सन को दिल्ली से गिरफ्तार किया गया था, जबकि ढावले को मुंबई से और गाडलिंग, शोमा सेन तथा महेश राउत को नागपुर से गिरफ्तार किया गया था। इनके लिंक प्रतिबंधित भाकपा (माओवादी) से थे। सभी पांचों आरोपियों को गुरुवार को अदालत में पेश किया गया। अदालत ने उन्हें 14 जून तक पुलिस हिरासत में भेज दिया।
सुनियोजित थी हिंसा : जानकारी के मुताबिक भीमा-कोरेगांव में हुई हिंसा के मामले में गिरफ्तार 5 लोगों में से एक व्यक्ति के पास से मिले पत्र ऐसा प्रतीत हो रहा है कि हिंसा पूर्वनियोजित थी। 2 जनवरी को लिखे इस पत्र को 50 लाख के इनामी भाकपा (माओवादी) के टॉप लीडर मिलिंद तेलतुम्बडे ने रोना विल्सन के पास भेजा था। पत्र में लिखा है कि भीमा-कोरेगांव आंदोलन बेहद प्रभावी रहा। हालांकि पुलिस इसकी सत्यता की जांच कर रही है। (एजेंसियां)