उपलब्धियों पर गर्व करे कांग्रेस, डोनाल्ड ट्रंप की यात्रा से परेशान क्यों...
नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की भारत यात्रा को लेकर कांग्रेस की टिप्पणियों को खारिज करते हुए आज कहा कि कांग्रेस के कारण ही भारत-अमेरिका संबंधों की प्रगति बाधित हुई थी। भाजपा के प्रवक्ता ने कांग्रेस को सलाह दी कि वह देश की उपलब्धियों पर गर्व करे। वह ट्रंप की भारत यात्रा को लेकर परेशान क्यों है।
भाजपा के प्रवक्ता डॉ. संबित पात्रा ने कहा कि ट्रंप की यात्रा भारत एवं अमेरिका के संबंधों में एक यादगार क्षण होगा, लेकिन कांग्रेस को अपना भाग्य डूबता देखकर चिंता हो रही है। उन्होंने कांग्रेस को सलाह दी कि वह देश की उपलब्धियों पर गर्व करे।
उन्होंने सवाल किया आखिर वह अमेरिकी राष्ट्रपति की भारत यात्रा से परेशान क्यों है जबकि भारत का कद विश्व में लगातार बढ़ रहा है। इस विश्व के सबसे बड़े लोकतंत्र और विश्व के सबसे पुराने लोकतंत्र के नेताओं के बीच मुलाकात की सराहना होनी चाहिए।
डॉ. पात्रा ने कहा कि ट्रंप ने स्वयं ही कई बार कहा है कि भारत से मोलभाव करना बहुत मुश्किल है तो फिर कांग्रेस को यात्रा के परिणामों को लेकर चिंतित नहीं होना चाहिए। अमेरिकी राष्ट्रपति ने अपनी शैली में ही बीते 70 साल में भारत-अमेरिका संबंधों के परिणामों पर सवाल खड़ा किया है और उनमें से अधिकांश समय कांग्रेस ही शासन में रही है। इससे बड़ा प्रमाण क्या हो सकता है कि कांग्रेस ने महत्वपूर्ण विदेश संबंधों को कितने ढीले-ढाले ढंग से बढ़ाया।
प्रवक्ता ने कहा कि यह प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के हस्तक्षेप से सुनिश्चित हुआ कि अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा 26 जनवरी 2015 को गणतंत्र दिवस समारोह के मुख्य अतिथि बने। क्या कांग्रेस यह कहना चाहती है कि 2014 के पहले भारत-अमेरिका के संबंध उतने महत्वपूर्ण नहीं थे।
पात्रा ने कहा कि सोची (रूस) से लेकर मामल्लापुरम तक और अब ट्रंप की यात्रा तक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने महत्वपूर्ण द्विपक्षीय संबंधों को नए स्तर पर पहुंचाने के लिए कड़ी मेहनत की है। जापान-अमेरिका-भारत तथा रूस-भारत-चीन जैसे क्षेत्रीय मंचों को मोदी के नेतृत्व में ही प्रमुखता मिली। इससे वैश्विक परिदृश्य में भारत की छवि तेजी से उभरी।
भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति के मुख्यालय व्हाइट हाउस के साथ घनिष्ठ सहयोग से यह सुनिश्चित हुआ कि भारत ट्रंप के रणनीतिक ब्लू प्रिंट में अग्रणी एवं केन्द्रीय भूमिका में होगा। व्यापार से लेकर रक्षा सौदों तक अमेरिका ने भारत को ऐसी-ऐसी पेशकश की हैं जो संप्रग के शासनकाल में नहीं हुईं थीं। भारत एवं अमेरिका के बीच आतंकवाद से मुकाबले के लिए सहयोग नए स्तर पर पहुंच चुका है।
प्रवक्ता ने कहा कि कांग्रेस को बताना चाहिए कि 26 नवंबर 2008 के मुंबई पर हमले के बाद वह क्या कर पाई थी। आतंकवाद के वित्त पोषण के लिए पाकिस्तान को एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट में मोदी सरकार ही ला पाई। कांग्रेस ने उसे यूं ही छोड़ा हुआ था।