रविवार, 29 सितम्बर 2024
  • Webdunia Deals
  1. चुनाव 2024
  2. लोकसभा चुनाव 2024
  3. लोकसभा चुनाव समाचार
  4. Opposition expressed concern over delayed update of vote percentage
Last Updated :नई दिल्ली , शनिवार, 11 मई 2024 (00:14 IST)

वोट प्रतिशत देरी से अपडेट को लेकर विपक्ष ने जताई चिंता, EC अधिकारियों से मिले नेता

Election Commission
Opposition expressed concern over delayed update of vote percentage : मतदान प्रतिशत के आंकड़ों पर विभिन्न विपक्षी दलों द्वारा व्यक्त की गई चिंताओं के बीच विपक्षी ‘इंडिया’ गठबंधन के नेताओं ने शुक्रवार को निर्वाचन आयोग के शीर्ष अधिकारियों से मुलाकात की और चुनाव के पहले 2 चरणों के लिए मतदान के आंकड़ों को जारी करने में देरी तथा सत्तारूढ़ दल के नेताओं द्वारा चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन पर अपनी चिंता व्यक्त की।
 
मल्लिकार्जुन खरगे के पत्र को निर्वाचन आयोग ने दुखद बताया : आंकड़े जारी करने में कथित देरी पर विपक्षी नेताओं को लिखे कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के पत्र को निर्वाचन आयोग ने दुखद बताया था और कड़े शब्दों में एक बयान जारी किया जिसके तुरंत बाद यह बैठक हुई। विपक्षी नेताओं ने आरोप लगाया कि सत्तारूढ़ दल के दोषियों को दंडित करने के लिए निर्वाचन आयोग द्वारा कोई सार्थक कार्रवाई नहीं की गई है।
इस बीच, समाजवादी पार्टी के नेता जावेद अली ने उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा राज्य में लोगों को जारी किए जा रहे लाल कार्ड का मुद्दा उठाया। उन्होंने आरोप लगाया कि यह कई लोगों को अपने मताधिकार का प्रयोग करने से रोक रहा है। प्रतिनिधिमंडल में कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंघवी और सलमान खुर्शीद, तृणमूल कांग्रेस के डेरेक ओ ब्रायन, द्रविड मुनेत्र कषगम (द्रमुक) के टीआर बालू, झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) की महुआ माझी, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) के बिनॉय विश्वम और अली सहित अन्य शामिल थे।
 
चुनावी कानूनों का सबसे गंभीर और ज़बरदस्त उल्लंघन : विपक्षी नेताओं द्वारा सौंपे गए सात पन्नों के ज्ञापन में कहा गया है कि मौजूदा चुनाव में सत्तारूढ़ दल के लोगों द्वारा अब तक चुनावी कानूनों का सबसे गंभीर और ज़बरदस्त उल्लंघन देखा गया है। इसमें कहा गया है कि उल्लंघन सर्वोच्च संवैधानिक कार्यालयों पर बैठे लोगों द्वारा किया जा रहा है।
 
विपक्ष के ज्ञापन में कहा गया है, माननीय आयोग के समक्ष दस्तावेजी सबूतों को सूचीबद्ध करने और रखे जाने के बावजूद, सत्तारूढ़ पक्ष के दोषी लोगों को दंडित करने के लिए कोई सार्थक कार्रवाई नहीं की गई है। इसमें कहा गया कि इसके परिणामस्वरूप इन उल्लंघनों का अनियंत्रित और निर्लज्ज सिलसिला जारी है।
लगभग 45 मिनट तक चली बैठक के बाद मीडिया को जानकारी देते हुए सिंघवी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केंद्रीय गृहमंत्री के खिलाफ आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन की विपक्ष की शिकायतों पर कार्रवाई नहीं करने पर आयोग के प्रति अविश्वास की भावना है और उस पर सवाल खड़े होते हैं।
 
उन्होंने कहा कि यह पहली बार है कि निर्वाचन आयोग ने पार्टी अध्यक्षों को नोटिस भेजा है, आरोपियों को नहीं, और उन्हें किसी कार्रवाई की जानकारी नहीं है। वह मोदी के बांसवाड़ा भाषण के खिलाफ शिकायतों पर भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा को निर्वाचन आयोग के पत्र का जिक्र कर रहे थे।
 
इस मुद्दे को लेकर उच्चतम न्यायालय जा सकते हैं विपक्षी दल : सिंघवी ने कहा, यह एक अपरिवर्तनीय नुकसान है, यह समान अवसर का अतिक्रमण करती है, यह चुनाव से जुड़ा है, यह लोकतंत्र और बुनियादी ढांचे से संबंधित है। इन सभी संवैधानिक मूल्यों का संरक्षक चुनाव आयोग है। यदि वे शीघ्र कार्रवाई नहीं करते हैं, तो यह संवैधानिक कर्तव्य का पूर्ण त्याग होगा। कांग्रेस नेता ने यह भी संकेत दिया कि विपक्षी दल इस मुद्दे को लेकर उच्चतम न्यायालय जा सकते हैं।
 
उन्होंने कहा, हमारे लिए यह कोई खुशी की बात नहीं है कि हम उच्चतम न्यायालय जाएं और इसलिए निर्देश लें कि आप फैसला नहीं करते। किसी संवैधानिक पदाधिकारी को इस तरह से काम नहीं करना चाहिए। सिंघवी ने कहा कि दूसरा मुद्दा मतदान प्रतिशत का प्रकाशन न होना या अत्यधिक विलंब से प्रकाशन होना था।
निर्वाचन आयोग की तरफ से कहा गया था कि फॉर्म 17सी की प्रतियां, जिसमें मतदाताओं की संख्या शामिल है, पीठासीन अधिकारी और सभी उपस्थित मतदान एजेंटों द्वारा विधिवत हस्ताक्षरित हैं, सभी उपस्थित मतदान एजेंटों के साथ साझा की जाती हैं। सूत्रों ने बताया कि बैठक में ओ ब्रायन ने बैठक से ठीक पहले निर्वाचन आयोग के बयान के बारे में बात की और मोदी और शाह के खिलाफ शिकायतों पर उसकी निष्क्रियता पर सवाल उठाया।
 
आदर्श आचार संहिता ‘मोदी आचार संहिता’ बन गई : उन्होंने कहा कि आदर्श आचार संहिता ‘मोदी आचार संहिता’ बन गई है। इस बीच, अली ने उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा कई व्यक्तियों को लाल कार्ड जारी करने और उन्हें मतदान केंद्रों के पास जाने से प्रतिबंधित करने का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि निर्वाचन आयोग ने आश्वासन दिया है कि भविष्य में ऐसे कोई कार्ड जारी नहीं किये जाएंगे।
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने निर्वाचन आयोग (ईसी) द्वारा जारी मतदान आंकड़ों में कथित विसंगतियों के मुद्दे पर मंगलवार को विभिन्न विपक्षी दलों के नेताओं को पत्र लिखा था। इसके बाद विपक्षी नेताओं ने इस मुद्दे पर निर्वाचन आयोग से संपर्क करने का फैसला किया था।
निर्वाचन आयोग ने हालांकि शुक्रवार को खरगे द्वारा ‘इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इंक्लूसिव अलायंस’ के घटक दलों के नेताओं को लिखे पत्र का जवाब दिया और उनके आरोपों को खारिज कर दिया कि उसने लोकसभा चुनाव के पहले दो चरणों के लिए अंतिम मतदाता संख्या जारी करने में देरी की थी।
 
कड़े शब्दों में लिखे पत्र में निर्वाचन आयोग ने कहा कि एक राष्ट्रीय राजनीतिक दल के अध्यक्ष के बयान चुनावी कदमों और प्रक्रियाओं की विश्वसनीयता पर हमला कर रहे हैं और मतदाताओं की भागीदारी पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकते हैं। (भाषा)
Edited By : Chetan Gour 
ये भी पढ़ें
Delhi Excise Policy : ईडी ने दाखिल की नई चार्जशीट, के. कविता को बनाया आरोपी