नहीं खत्म हुई है उम्मीद, रोहित ले सकते हैं ICC Champions Trophy जीतकर कप्तानी से विदाई
विश्व कप जीतने का सपना पूरा नहीं होने पर रविवार की रात को जब रोहित शर्मा मोटेरा स्टेडियम से बाहर निकलते हुए अपने पास से गुजरने वाले प्रत्येक व्यक्ति से हाथ मिला रहे थे तो निश्चित तौर पर वह काफी अकेलापन महसूस कर रहे होंगे।
भले ही ऐसा लग रहा होगा कि रोहित शर्मा के सारे सपने चकनाचूर हो गए लेकिन भारतीय क्रिकेट टीम को अभी उनकी जरूरत है और उन्हें कम से कम दो साल तक लंबे प्रारूप का कप्तान बनाए रखा जाना चाहिए।
राहुल द्रविड़ का कप्तानी कार्यकाल 2007 में जब समाप्त हुआ तो महेंद्र सिंह धोनी उनकी जगह लेने के लिए तैयार थे और जब धोनी ने कप्तानी छोड़ी तो विराट कोहली को पहले से ही तैयार कर दिया गया था। इसी तरह से रोहित भी कोहली से जिम्मेदारी लेने को तैयार थे।
लेकिन वर्तमान टीम में कोई भी युवा अभी कप्तानी की जिम्मेदारी लेने के लिए तैयार नहीं लगता और ऐसे में चयनकर्ताओं के पास रोहित को कप्तान बनाए रखने के अलावा और कोई विकल्प नहीं है।टीम के मुख्य कोच राहुल द्रविड़ की बातों से अंदाजा लग जाता है कि रोहित टीम के लिए कितने महत्वपूर्ण हैं।
द्रविड़ ने मैच के बाद कहा,वह असाधारण कप्तान है। रोहित ने वास्तव में बहुत अच्छी तरह से इस टीम की अगुवाई की है। उन्होंने ड्रेसिंग रूम में अपना बहुत सारा समय और ऊर्जा साथी खिलाड़ियों को दी है। वह किसी भी चर्चा और बैठक के लिए हमेशा उपलब्ध रहते हैं।
रोहित ने पिछले छह सप्ताह में अपने कप्तानी कौशल और बेफिक्र बल्लेबाजी से क्रिकेट प्रेमियों को रोमांचित किया।द्रविड़ ने कहा,उन्होंने विश्व कप के इस अभियान में अपना काफी समय और ऊर्जा लगाई। वह आगे बढ़कर नेतृत्व करना चाहते थे और उन्होंने टूर्नामेंट के शुरू से लेकर आखिर तक ऐसा किया।
रोहित अभी 36 साल के हैं और 2027 में दक्षिण अफ्रीका में जब अगला वनडे विश्व कप खेला जाएगा तो उनकी उम्र 40 साल से अधिक हो जाएगी। भारतीय क्रिकेट प्रबंधन को हालांकि अभी उनकी जगह किसी अन्य को कप्तान बनाने की बजाय उन्हें कम से कम दो साल तक इस पद पर बनाए रखना चाहिए जो भारतीय क्रिकेट के लिए महत्वपूर्ण होगा।
वनडे में रोहित यह तय कर सकते हैं कि उन्हें किस श्रृंखला में खेलना है और किसमें नहीं लेकिन टेस्ट क्रिकेट में covid-19 के बाद वह हर तरह की परिस्थितियों में भारत के सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाज रहे हैं और टीम को अभी उनकी जरूरत है।रोहित की मौजूदगी में अगले कप्तान को तैयार किया जा सकता है जिससे टीम बदलाव के दौर में अच्छी तरह से आगे बढ़ सकती है।
(भाषा)