Bengaluru Stampede : बीसीसीआई ने रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरू की आईपीएल जीत के जश्न में चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर बुधवार को मची भगदड़ के लिये तैयारियों में चूक को दोषी ठहराया जबकि आरसीबी टीम प्रबंधन ने कहा कि क्रिकेटप्रेमियों की भावनाओं के साथ हमदर्दी रखनी चाहिये। आरसीबी के 18 साल के इंतजार के बाद पहले आईपीएल खिताब जीतने से शहर में जश्न का माहौल था जो आज गम में बदल गया। स्टेडियम के बाहर करीब दो लाख प्रशंसक जुटे थे जिन पर पुलिस नियंत्रण नहीं सकी। इससे अफरा तफरी फैल गई और 11 प्रशंसकों की मौत हो गई जबकि 30 से अधिक घायल हो गए।
बीसीसीआई सचिव देवजीत सैकिया ने पीटीआई से कहा , यह काफी दुर्भाग्यपूर्ण है। यह लोकप्रियता का नकारात्मक पहलू है। लोग अपने क्रिकेटरों के लिये पागल हैं। आयोजकों को इसकी बेहतर योजना बनानी चाहिये थी। मृतकों के परिजनों के प्रति मेरी संवेदनायें। मैं घायलों के जल्दी ठीक होने की कामना करता हूं।
उन्होंने कहा , इस स्तर के जीत के जश्न के आयोजन के लिये पर्याप्त एहतियात बरती जानी चाहिये थे और सुरक्षा उपायों को ध्यान में रखना था। कहीं न कहीं तो कोई चूक हुई है।
उन्होंने कहा , आईपीएल के इतने शानदार अंत के बाद यह रंग में भंग हो गया। पहले भी आईपीएल जीत के जश्न हुए हैं जैसे पिछले साल केकेआर के जीतने पर कोलकाता में हुआ था लेकिन वहां कुछ नहीं हुआ।
उन्होंने पिछले साल भारत के टी20 विश्व कप जीतने के बाद मुंबई में हुए जश्न का उदाहरण दिया।
उन्होंने कहा , जब हमने टी20 विश्व कप जीता तो मुंबई में लोगों का हुजूम उमड़ पड़ा था लेकिन ऐसा कुछ नहीं हुआ। पुलिस और स्थानीय प्रशासन ने मिलकर उसे सुचारू रूप से कराया। उम्मीद है कि कुछ और अप्रिय नहीं हो।
सैकिया ने कहा , कल अहमदाबाद में आईपीएल फाइनल के दौरान भी स्टेडियम में 120000 दर्शक थे लेकिन बीसीसीआई की टीम ने स्थानीय जिला प्रशासन और पुलिस के साथ मिलकर दर्शकों की सुरक्षा सुनिश्चित की थी।
वहीं आरसीबी प्रवक्ता ने कहा कि लोगों को क्रिकेटप्रेमियों की भावनायें समझनी चाहिये लेकिन कुप्रबंधन पर एक शब्द भी नहीं कहा।
उन्होंने कहा , जो हमारे हाथ में है, हम उस पर नियंत्रण की कोशिश कर रहे हैं। सरकार हर स्तर पर सहयोग कर रही है लेकिन यह लोगों की भावनायें थीं। जीत के जश्न में एक दूसरे का ध्यान रखने के संदेशों के बावजूद ऐसे हालात बन गए।
प्रवक्ता ने एक बयान में कहा , हमें लोगों की भावनाओं को समझना होगा। उन्होंने संयम के साथ इस जीत के लिये 18 साल इंतजार किया है । हमें इस कमजोरी और भावनाओं के लिये उनके साथ हमदर्दी रखनी चाहिये ।
वहीं आईपीएल चेयरमैन अरूण धूमल ने कहा कि जैसे ही उन्हें इस त्रासदी के बारे में पता चला , उन्होंने आयोजकों से कार्यक्रम बंद करने के लिये कहा।
उन्होंने पीटीआई से कहा , जिस भी जांच की जरूरत होगी, वह की जायेगी। यह बीसीसीआई का आयोजन नहीं था। यह दुखद और त्रासद है। जश्न यूं त्रासदी में बदल गया। अपने प्रियजनों को खोने वाले परिवारों के प्रति हमारी संवेदनायें।
धूमल ने कहा , मुझे नहीं पता कि यह कार्यक्रम पूर्व निर्धारित था या नहीं। प्रशंसकों को बुलाया गया था या वे खुद आये थे। जब मैं आरसीबी अधिकारियों से बात कर रहा था तो स्टेडियम के भीतर इतना शोर था। उन्हें शायद पता नहीं था कि बाहर क्या हो रहा है। जब मैने उन्हें बताया तो उन्होंने मुझे आश्वासन दिया कि कार्यक्रम तुरंत बंद कराया जायेगा।
उन्होंने कहा , हमने आईपीएल के दौरान धर्मशाला में एक मैच रद्द कराया तो यह सुनिश्चित किया था कि सब सुरक्षित ढंग से बाहर निकल जाये। वहां एक भी व्यक्ति चोटिल नहीं हुआ था।
इस बीच आरसीबी और कर्नाटक प्रदेश क्रिकेट संघ ने संयुक्त रूप से मृतकों के परिवार को पांच पांच लाख रूपये मुआवजा राशि देने का ऐलान किया। (भाषा)