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Written By अविचल शर्मा
Last Modified: सोमवार, 30 मई 2022 (16:11 IST)

टॉस जीतने के बाद से ही गलतियां करना शुरु कर दिया था संजू सैमसन ने, इस कारण गुजरात से मिली तीसरी हार

टॉस जीतने के बाद से ही गलतियां करना शुरु कर दिया था संजू सैमसन ने, इस कारण गुजरात से मिली तीसरी हार - Sanju Samson lost it after winning the toss and electing to bat fist against Gujarat
14 साल बाद आईपीएल ट्रॉफी ला पाने का सपना संजोए राजस्थान की टीम कल नरेंद्र मोदी स्टेडियम में मेजबान गुजरात के सामने आमने सामने हुई। पहला दांव भी राजस्थान के लिए सही रहा। टॉस हारने के लिए मशहूर कप्तान संजू सैमसन ने टॉस जीता। लेकिन यहां से वह गलती करते हुए चले गए।

इस पिच पर उन्होंने टॉस जीतकर बल्लेबाजी चुन ली। गुजरात के कप्तान हार्दिक ने कहा कि यह निर्णय उनके हित में है क्योंकि वह टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करना पसंद करते। इस ही पिच पर राजस्थान ने बैंगलोर को रनों का पीछा करते हुए हराया था फिर भी राजस्थान के कप्तान ने यह फैसला किया।

यह जानते हुए भी प्लेऑफ में ही पहले क्वालिफायर में गुजरात ने राजस्थान के खिलाफ 190 रनों के लक्ष्य का पीछा आसानी से 3 विकेट खोकर कर लिया था और टीम के पास डेविड मिलर, राहुल तेवतिया और राशिद खान जैसे फिनिशर है। ऐसा निर्णय यह बताता है कि संजू सैमसन पिच की स्थितियों के बजाए पुराने आंकड़ो में फंसे हुए थे।

हालांकि इससे पहले भी लीग मैच में राजस्थान गुजरात से 37 रनों से हार गई थी लेकिन उस वक्त स्थिति अलग थी और गुजरात बड़ा स्कोर खड़ा करने में कामयाब रही थी।

राजस्थान के कप्तान संजू सैमसन ने यह निर्णय इस कारण लिया क्योंकि कुल 14 आईपीएल फाइनल में 9 बार पहले बल्लेबाजी करने वाली टीम जीती है वहीं बाद में बल्लेबाजी करने वाली टीम सिर्फ 5 बार। हालांकि कल मैच के बाद गुजरात बाद में बल्लेबाजी कर आईपीएल फाइनल जीतने वाले आंकड़े को 6 तक ले गई।

ठिठक के रह गए बल्लेबाज, संजू ने भी किया निराश

गुजरात टाइटंस की धारदार गेंदबाजी के आगे राजस्थान रॉयल्स के बल्लेबाज ठिठक से गए और पॉवरप्ले को छोड़कर कभी तेजी से रन बनाते हुए दिखे ही नहीं जिसका नतीजा यह हुआ कि आईपीएल 2022 के खिताबी मुकाबले में राजस्थान सिर्फ  9 विकेट खोकर 130 रन बना पाई।

टीम ने पहले पॉवरप्ले में जरूर 44 रनों पर 1 विकेट खोया लेकिन 7-15 ओवरों के बीच में सिर्फ 50 रन जोड़े और 4 विकेट खो डाले। अंत के 4 ओवरों में तो टीम ने 36 रनों पर 4 विकेट खोए।

कप्तान संजू सैमसन का यह सत्र निराशा भरा रहा और फाइनल में भी वह कुछ नहीं कर पाए। 11 गेंदो में 2 चौके मारकर वह सिर्फ 14 रन बटोर सके।

पूरे सत्र खिलाया रियान पराग को, फाइनल में भी दी जगह

एक मैच को छोड़ दिया जाए तो रियान पराग ने ना ही बल्लेबाजी और ना ही गेंदबाजी में राजस्थान के लिए कुछ किया। कल भी संजू सैमसन ने उनको मौका दिया। प्लेऑफ से ही उनकी जगह किसी और खिलाड़ी को आजमाना चाहिए था।

कल भी रियान पराग सिर्फ 15 गेंदो में 15 रन बना पाए। उनका गेंदबाजी में तो इस्तेमाल ना के बराबर हुआ। टीम ने उनको रीटेन किया था और राहुल तेवतिया को रीलीज किया था। यह निर्णय भी संजू सैमसन को काफी खला होगा।

शिमरन हिटमायर को ऊपरी क्रम में ना खिलाना महंगा पड़ा

भारत लौटने के बाद शिमरन हिटमायर को अपनी  लय प्राप्त करने में मुश्किल हो रही थी। अगर बैंगलोर के खिलाफ मैच में वह देवदत्त पड्डीकल की जगह बल्लेबाजी करने आते तो पिच का आभास हो जाता। फाइनल में उन पर अचानक दबाव आ गया और वह रन गति को नहीं बढ़ा पाए।
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