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Last Updated :तेहरान , शनिवार, 21 जून 2025 (21:00 IST)

Iran-Israel war : इजराइली हमलों के बाद ईरान में भूकंप, परमाणु ठिकानों पर रहस्यमय झटकों से मचा हड़कंप, क्यों उड़ी परीक्षण की अफवाहें

भूकंप से किसी के हताहत होने की सूचना नहीं है। इस भूकंप के कई सवालों को पैदा किया है।

israel iran war
Earthquake in Iran :  इजराइल से युद्ध के बीच ईरान के युद्ध प्रभावित सेमनान में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए हैं। रिक्टर पैमाने पर भूकंप की तीव्रता 5.1 दर्ज की गई। 5.1 की तीव्रता का यह भूकंप चिंता का विषय बन गया, क्योंकि इस इलाके में इजराइल मिसाइलों से हमले कर रहा है। भूकंप से किसी के हताहत होने की सूचना नहीं है। इस भूकंप के कई सवालों को पैदा किया है।
 
कब-कब हिली धरती 
पहला भूकंप शुक्रवार रात 9.19 बजे ईरान के सेमनान प्रांत में आया जिसकी तीव्रता 5.1 मापी गई। यह भूकंप 10 किलोमीटर की गहराई में केंद्रित था और इसकी वजह से राजधानी तेहरान समेत कई अन्य हिस्सों में झटके महसूस किए गए। इससे पहले, 15 जून को फोर्डो परमाणु संयंत्र के पास 2.5 तीव्रता का एक हल्का भूकंप दर्ज किया गया था। खास बात यह कि भूकंप कथित इजराइली हवाई हमलों के तुरंत बाद दर्ज किया गया था। 
गहराया परमाणु गतिविधियों का शक 
इन दोनों भूकंपों की टाइमिंग और लोकेशन से अब यह शक गहरा रहा है कि कहीं ये परमाणु गतिविधियों से जुड़े हुए तो नहीं हैं। खासकर तब, जब मीडिया रिपोर्ट्स और सैटेलाइट तस्वीरों में इस्फहान, फोर्डो और नतांज़ जैसे परमाणु ठिकानों पर हमलों और क्षति के संकेत मिले हैं। इससे परमाणु विस्फोट या सैन्य गतिविधियों से भूकंप पैदा होने की अटकलों को बल मिला है।
ईरान ‘Alpine-Himalayan Seismic Belt’ पर स्थित है, जो कि भूकंपीय रूप से दुनिया के सबसे सक्रिय क्षेत्रों में से एक है। आंकड़ों के अनुसार यहां हर साल करीब 2,000 से अधिक भूकंप दर्ज किए जाते हैं। इनमें से औसतन 15 से 16 भूकंप की तीव्रता 5 या उससे अधिक होती है। 2006 से 2015 के बीच ही ईरान में 96,000 से ज्यादा भूकंप रिकॉर्ड किए गए थे। 
 
इजराइल के हमले में 3 ईरानी कमांडरों की मौत 
इजराइल की सेना ने शनिवार को कहा कि उसने बीती रात ईरान की परमाणु अनुसंधान सुविधा पर हमला किया और निशाना बनाकर किए गए हमलों में तीन वरिष्ठ ईरानी कमांडरों की मौत हो गई। दोनों देशों के बीच युद्ध दूसरे सप्ताह में प्रवेश कर गया है।
 
शनिवार सुबह इस्फहान में एक पर्वत के निकट इलाके से धुआं उठता दिखाई दिया, जहां एक स्थानीय अधिकारी ने कहा कि इजराइल ने दो बार परमाणु अनुसंधन सुविधा पर हमला किया। इजराइली सेना के एक अधिकारी के अनुसार निशाने पर दो सेंट्रिप्यूज उत्पादन स्थल थे।
 
ईरान के परमाणु कार्यक्रम को तहस-नहस करने के इजराइल के लक्ष्य के तहत 24 घंटे में इस्फहान में हुआ यह दूसरा हमला था। इस्फहान प्रांत के सुरक्षा मामलों के डिप्टी गवर्नर अकबर सालेही ने पुष्टि की कि इजराइली हमलों में सुविधा को नुकसान पहुंचा है, लेकिन कोई व्यक्ति हताहत नहीं हुआ।
 
ईरान ने एक बार फिर इजराइल पर ड्रोन और मिसाइल दागे, लेकिन तत्काल कोई महत्वपूर्ण नुकसान की जानकारी नहीं मिली है। इजराइल की डेविड एडोम बचाव सेवा ने शनिवार को कहा कि उत्तरी इजराइल में दो मंजिला इमारत पर एक ईरान ड्रोन गिरा, लेकिन कोई हताहत नहीं हुआ।
 
बेनतीजा रही बातचीत
इस बीच दोनों देशों के दरमियान तनाव कम करने के उद्देश्य से स्विटजरलैंड के जेनेवा में घंटों चली कूटनीतिक वार्ता बेनतीजा रही। यूरोपीय अधिकारियों ने भविष्य में वार्ता की आशा व्यक्त की जबकि ईरानी विदेश मंत्री अब्बास अरागची ने कहा कि वह आगे भी वार्ता के लिए तैयार हैं। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि इजराइल की ओर से लगातार हमले किए जाने के कारण ईरान को अमेरिका के साथ वार्ता करने में कोई रुचि नहीं है।
 
उन्होंने पत्रकारों से कहा कि यदि हमले बंद हो जाएं और हमलावर को उसके अपराधों के लिए जवाबदेह ठहराया जाए तो ईरान कूटनीतिक कदमों पर विचार करने के लिए तैयार है। वार्ता के लिए कोई अगली तारीख तय नहीं की गई है।
 
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप संघर्ष में अमेरिकी सेना की सक्रिय भागीदारी पर विचार कर रहे हैं, जिसके बारे में अरागची ने शनिवार को कहा कि "यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण होगा।" इस्तांबुल में इस्लामिक सहयोग संगठन की बैठक से इतर अरागची ने कहा, "मुझे लगता है कि यह सभी के लिए बहुत खतरनाक होगा।"
 
इजराइल ने 13 जून को ईरान परमाणु और सैन्य ठिकानों, शीर्ष जनरलों और परमाणु वैज्ञानिकों को निशाना बनाकर हमले किए थे, जिसके जवाब में ईरान की ओर से हवाई हमले किए जाने के बाद दोनों देशों के बीच युद्ध छिड़ गया था। वाशिंगटन में स्थित ईरानी मानवाधिकार समूह के अनुसार, ईरान में 263 आम नागरिकों समेत कम से कम 657 लोग मारे गए हैं और 2,000 से अधिक लोग घायल हुए हैं। इजराइली सेना के अनुमान के अनुसार, ईरान ने इजराइल पर 450 मिसाइलें और 1,000 ड्रोन दागकर जवाबी कार्रवाई की है।
 
सेना के अनुसार, अधिकतर मिसाइलों और ड्रोन को इजराइल की बहुस्तरीय वायु रक्षा प्रणाली ने मार गिराया है, हालांकि इन हमलों में इजराइल में कम से कम 24 लोग मारे गए हैं और सैकड़ों घायल हुए हैं। इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा है कि जब तक उनका देश चाहेगा तब तक ईरान में इजराइल का सैन्य अभियान चलेगा, जिसका मकसद ईरान के परमाणु कार्यक्रम और बैलिस्टिक मिसाइलों को खत्म करना है।
 
इजराइल के एक शीर्ष जनरल ने भी इसी तरह की चेतावनी देते हुए कहा कि इजराइली सेना लंबे अभियान के लिए तैयार है। हालांकि नेतान्याहू अमेरिका की मदद के बिना यह लक्ष्य हासिल नहीं कर सकते। माना जा रहा है कि ईरान की फोरदो यूरेनियम संवर्धन सुविधा बंकरों को तबाह करने वाले अमेरिका के बमों से अभी बची हुई है। ट्रंप ने कहा है कि वह ईरान के खिलाफ इजराइल के अभियान में अमेरिका के शामिल होने को लेकर दो सप्ताह में फैसला लेंगे।
 
इजराइल ने कहा कि कुद्स फोर्स के लिए फलस्तीन कोर के कमांडर सईद इज़ादी की कोम शहर के एक अपार्टमेंट में हत्या कर दी गई है। कुद्स फोर्स रिवॉल्यूशनरी गार्ड की एक विशिष्ट शाखा है जो ईरान के बाहर सैन्य व खुफिया अभियान चलाती है।
 
इजराइल ने यह भी कहा कि उसने कुद्स फोर्स की हथियार हस्तांतरण इकाई के कमांडर को भी मार दिया है, जो हिज्बुल्ला और हमास को हथियार मुहैया कराने के लिए जिम्मेदार था। सेना ने कहा कि बेहनाम शाहरियारी की मौत पश्चिमी ईरान में यात्रा करते समय कार में हुई।
 
पत्रकारों को जानकारी देने वाले इजराइली अधिकारी ने बताया कि ईरान के ड्रोन बल के कमांडर की भी शुक्रवार रात मौत हो गई। इजराइल ने ईरान के एक और न्यूक्लियर साइंटिस्ट की हत्या कर दी है। ईरान की मेहर न्यूज एजेंसी के अनुसार, साइंटिस्ट इसार तबातबाई-कमशेह और उनकी पत्नी की मौत शुक्रवार को तेहरान में एक अपार्टमेंट पर ड्रोन हमले में हुई थी।  इनपुट भाषा Edited by : Sudhir Sharma
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