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पहली बार वर्षा में हो रहे हैं निगम चुनाव: 6 का एक होगा विशेष संयोग

पहली बार वर्षा में हो रहे हैं निगम चुनाव: 6 का एक होगा विशेष संयोग - Indore Municipal Corporation elections are being held for the first time in the rain
चुनाव आयोग और राजनीतिक दल हमेशा उपयुक्त मौसम को देखकर ही चुनाव की तिथि को तय करते हैं। जाहिर है, भारतीय परिस्थितियों में हर पक्ष का ध्यान रखना होता है। कहीं वर्षा, विवाह या त्योहार का वक्त तो नहीं है जिससे कि मतदान प्रतिशत प्रभावित न हो। परंतु कुछ कानूनी अड़चनों, कोरोना और आरक्षण के मुद्दों की वजह से चुनाव प्रक्रिया में काफी विलंब हुआ है। आयोग के पास और चुनाव टालने का विकल्प नहीं था। अत: जून और जुलाई के वर्षाकाल के आरंभ के समय में ही उसे चुनाव करवाने पड़ रहे हैं।
 
देश के आजाद होने बाद मध्यभारत में मालवा के होलकरों की नगरी में पहले लोकतांत्रिक तरीके से चुनाव मार्च 1950 में गुड़ी पड़वा को संपन्न हुए थे। पहले नगर पालिका चु्नाव में 19 मार्च 1950 को रविवार को मतदान हुआ था और उस दिन वर्ष प्रतिपदा यानी नववर्ष का दिन था। इसके बाद दूसरे नगर पालिका चुनाव भी 2 मई 1955, सोमवार को मतदान हुआ था। नगर निगम से पालिका बनने के बाद पहले चुनाव 16 फरवरी 1958, सोमवार को हुए।
 
वर्ष 1965 में 24 जनवरी, रविवार, 1983 में, 10 फरवरी गुरुवार, 1994 में, 24 नवंबर दिन गुरुवार, 1999 में, 22 दिसंबर बुधवार, 2004 को, 20 नवंबर दिन शनिवार, 2009 में, 11 दिसंबर दिन शुक्रवार और 2015 में 31 जनवरी शनिवार को नगर निगम का मतदान संपन्न हुआ था। इस वर्ष यानी 2022 को 6 जुलाई दिन बुधवार को मतदान होंगे।
 
संपन्न होने वाले चुनावों के माह को देखें तो पता चलता है कि जून से अक्टूबर के मध्य कभी नगर निगम के चुनाव नहीं हुए हैं। जाहिर है कि इस साल निगम के चुनाव हेतु वर्षा के मौसम यानी जुलाई में मतदान प्रक्रिया पूर्ण की जानी है।
 
इस तरह 2 रविवार, 2 सोमवार, 1 बुधवार, 2 गुरुवार, 1 शुक्रवार एवं 2 बार शनिवार को चुनाव संपन्न हुए हैं। इस बार भी चुनाव बुधवार को होने जा रहे हैं यानी चुनाव होने के दिनों में अब बुधवार को चुनाव 3 बार हो जाएंगे।
 
नगर निगम और पालिका के चुनाव में 1950 से 2015 तक 10 राजनीतिक दलों को स्थानीय सत्ता का मौका मिला है। 4 बार कांग्रेस, 1 बार नागरिक मोर्चा और 5 बार भारतीय जनता पार्टी को नगर की बागडोर सौंपी है।
 
इंदौर की जनता, सफाई मित्रों के साथ नगर निगम के कर्मचारियों की मेहनत से नगर स्वच्छता में यदि 6ठी बार देश में प्रथम घोषित होता है और नगर में भाजपा की सत्ता को पुन: कमान मिलती है तो उसे भी 6 बार नगर की बागडोर संभालने का अवसर मिलेगा। यह भी 6 का एक संयोग रहेगा। देखते हैं कि मतदाता अपना मत किसके पक्ष में देकर इंदौर नगर निगम की सत्ता सौंपते हैं?
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