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Last Updated : सोमवार, 2 फ़रवरी 2015 (10:26 IST)

'उपद्रवी गोत्र' मामले में अरविंद केजरीवाल भड़के

'उपद्रवी गोत्र' मामले में अरविंद केजरीवाल भड़के - Arvind Kejriwal
नई दिल्ली। दिल्ली विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी और आम आदमी पार्टी में कड़ा मुकाबला है जिसके चलते भाजपा ने पोस्टर और विज्ञापन वार झेड़ रखा है। दिल्ली के अखबारों में केजरीवाल पर हमले को लेकर भाजपा का एक विज्ञापन छपा है इस विज्ञापन को लेकर अरविंद केजरीवाल भड़क गए हैं।
अरविंद केजरीवाल ने कहा कि भाजपा ने इस बार हद कर दी है। अरविंद केजरीवाल ने भाजपा के विज्ञापन को जातिवादी मोड़ दे दिया है उन्होंने ट्वीट करके कहा कि भाजपा ने पुरे अग्रवाल समाज को ही 'उपद्रवी' बता दिया है। उन्होंने मेरे गोत्र को उपद्रवी गोत्र लिख दिया है। केजरीवाल ने आगे लिखा कि...मैंने समाज सेवा निजी अपमान पर कभी प्रतिक्रिया नहीं की। लेकिन आज तो भाजपा ने अपने इश्तिहार में हद ही कर दी। अरविंद ने आगे लिखा कि.. भाजपा को हो क्या गया है? पहले उन्होंने मेरे बच्चों पर निशाना साधा। मैं चुप रहा। अन्नाजी कहते हैं कि अपमान पीने की क्षमता होनी चाहिए।
 
भारतीय जनता पार्टी का कहना है कि 'गोत्र' वाली बात समूची पार्टी के लिए है इस जातिगत संदर्भ में नहीं लिया जाना चाहिए। 

अगले पन्ने पर भाजपा के विज्ञापन में आखिर क्या लिखा है...
 

अब पढ़िए विज्ञापन में क्या लिखा है...
इस विज्ञापन में एक तरफ लिखा है, 'मेरी ना सुनी तो 26 जनवरी का प्रोग्राम भी बिगाड़ जाऊंगा।' वहीं दूसरी तरफ लिखा है, 'और एक साल बाद वीआईपी। पास की गुहार भी लगाऊंगा।'
 
पहले तो संवैधानिक पद पर होते हुए मुख्यमंत्री महोदय धरने पर जा बैठे। जोश-जोश में होश खो कर बोले..हैं.हम अनार्किस्ट हैं, अराजकता में हमारा विश्वास है। फिर बोले- हमारी मांगे न मानी तो गणतंत्र दिवस कार्यक्रम में उपद्रव करेंगे..यह खास लोगों का आयोजन है।
 
इस विज्ञापन में नीचे लिखा है, हे आंदोलनकारी..देश के करोड़ों लोग गणतंत्र दिवस को राष्ट्रीय पर्व मानते हैं। इस पर गर्व करते हैं और आपका उपद्रवी गोत्र इसमें भी व्यवधान डालने को तैयार था। अब देखिए इस साल कैसे पलटी खाई...गणतंत्र दिवस पर वीआईपी पास की आस लगाई। पास न मिला तो अपनी खिन्नता भी न छुपा सके... अरे भाई तय कर लो एक बार..आम आदमी हो या वीआईपी.? या आम आदमी के वेश में खास आदमी?