Last Modified: वॉशिंगटन ,
शुक्रवार, 7 अक्टूबर 2011 (13:10 IST)
चक्रदार और घूमते गैस का घर है आकाशगंगा
ग्रह वैज्ञानिकों ने पहली बार अकाशगंगा में तारों के बीच की जगह में चक्रदार और घूमते गैस को देखने का दावा किया है। खाली जगह में मौजूद गैस छटपटाते सांपों की तरह दिखती है।
एक अंतरराष्ट्रीय दल ने अकाशगंगा में मौजूद इस तरह की गैस की तस्वीर को ‘नेचर जर्नल’ के नवीनतम संस्करण में प्रकाशित किया है।
इस दल के प्रमुख और सिडनी विश्वविद्यालय में प्रोफेसर ब्रायन गैंसलेर ने कहा कि यह पहला मौका है जब इस तरह के गैस की तस्वीर तैयार करने में सफलता मिली। लोग ऐसा करने की कोशिश पिछले 30 साल से कर रहे हैं।
इस दल ने सीएसआईआरओ के ऑस्ट्रेलिया टेलीस्कोप कॉम्पैक्ट की सहायता से रेडियो तरंगों को प्राप्त किया। इसके बाद दल ने नोरमा तारामंडल में अकाशगंगा से 10,000 प्रकाशवर्ष दूर स्थित क्षेत्र का अध्ययन किया।
दल के सदस्य जॉन डिक्की के मुताबिक इन आंकड़ों को 12 साल पहले लिया गया था। लेकिन यह अत्यंत समृद्ध और रूचिकर क्षेत्र है। उन्होंने कहा कि यह अध्रुवीय रेडियो पारेषण अंतरिक्षीय किरणों और चुंबकीय क्षेत्रों के साथ अकाशगंगा डिस्क की आकषर्क तस्वीर प्रस्तुत करती है।
उन्होंने कहा कि लेकिन जब हमलोगों ने धुव्रीय पारेषण का अध्ययन किया तो पाया कि उसकी संरचना पहले लिए गए चित्रों से बिल्कुल भिन्न है। रेड़ियों आवृतियों में रेखीय ध्रुवीकरण को निर्धारित करने वाले भौतिक प्रक्रिया को समझने में हमें कई साल लगे। (भाषा)