जिस खिलाड़ी ने जिताया जूनियर महिला एशिया कप उसकी गुरु हैं रानी रामपाल
"स्वयं पर विश्वास करो।" भारत की पूर्व कप्तान Rani Rampal रानी रामपाल के इन शब्दों का युवा ड्रैग फ्लिकर नीलम पंघाल पर गहरा प्रभाव पड़ा जो रविवार को जापान में कोरिया के खिलाफ Junior Women Hockey Asia Cup जूनियर एशिया कप हॉकी के फाइनल में विजयी गोल दागकर टीम की स्टार बनकर उभरीं।
हरियाणा के हिसार जिले की 19 साल की नीलम ने 41वें मिनट में गोल किया जिससे भारत ने जापान के काकामिगाहारा में चार बार के चैंपियन कोरिया को 2-1 से हराया।नीलम ने मंगलवार को पीटीआई से कहा, जब भी उन्होंने (रानी) कोई सत्र आयोजित किया तो उन्होंने हमें खुद पर विश्वास करने के लिए कहा और इससे मुझे प्रेरणा मिली।
उन्होंने कहा, मैंने बेंगलुरू में रानी दीदी से कुछ पेनल्टी कॉर्नर सत्र लिए, विशेषकर उनके हिटिंग कौशल के बारे में। जब मैं छोटी थी और पेनल्टी कॉर्नर लेना शुरू किया था तो मैं ड्रैग (स्टिक को) करती थी लेकिन मैंने रानी दीदी को देखकर हिट लेना शुरू कर दिया। मैंने उनसे बहुत कुछ सीखा है।
अपनी बहनों को राष्ट्रीय स्तर पर जगह बनाने में विफल होते देखकर नीलम दृढ़ संकल्पित हो गई और समय के साथ संकल्प बढ़ता गया।
उन्होंने कहा, मैंने अपनी बहनों को खेलते हुए देखकर हॉकी खेलना शुरू किया। मैं उनके साथ मैदान में जाती थी और समय के साथ खेल के लिए पसंद विकसित हुई। मैंने फिर 2014 में हिसार में भारतीय खेल प्राधिकरण के छात्रावास में प्रवेश लिया और आजाद सिंह मलिक सर के मार्गदर्शन में अपने कौशल को निखारा।
जूनियर एशिया कप के दौरान पेनल्टी कॉर्नर से पांच गोल करने वाली नीलम ने कहा, मैंने अपना पहला सब जूनियर टूर्नामेंट 2016 में खेला था और तब से मैंने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा।कोरिया के खिलाफ फाइनल मध्यांतर तक काफी रोमांचक था लेकिन नीलम ने पेनल्टी कॉर्नर पर निर्णायक गोल कर भारत को रोमांचक जीत दिलाई।
(भाषा)