व्रत और त्योहारों का महीना कार्तिक
मोक्ष प्राप्ति का महीना है कार्तिक मास
यूं तो हिंदू धर्म में व्रत और त्योहार का बहुत ज्यादा महत्व रहा है। साल के सभी 12 महीनों में शायद ही कोई ऐसा महीना होगा जब कोई व्रत या त्योहार न पड़ता हो। ऐसा माना जाता है कि व्रत और त्योहार करने से सभी पापों का नाश हो जाता है और सदा हम पर ईश्वर का आशीर्वाद बना रहता है। धर्म शास्त्रों और पुराणों के हिसाब से अन्य महीनों की अपेक्षा कार्तिक मास व्रत और त्योहार की दृष्टि से खास है। जो मनुष्य कार्तिक मास में व्रत व तप करता है वह मोक्ष को प्राप्त होता है।
शरद पूर्णिमा के दिन से वर्षा ऋतु की विदाई और शरद ऋतु का प्रवेश हो जाता है। शरद पूर्णिमा के व्रत और स्नान के बाद ही शुरू हो जाता है त्योहारों और व्रतों का महीना कार्तिक। दूसरे महीनों की अपेक्षा इस महीने में सबसे ज्यादा त्योहार और व्रत होते हैं। यहां तक कि भगवान विष्णु की उपासना का क्रम भी इसी मास से शुरू होता है। इस महीने में सबसे पहले पूर्णिमा व्रत व स्नान, पति की रक्षा के लिए करवा चौथ व्रत, अहोई व्रत, रमा एकादशी व्रत, गोवत्स द्वादशी, धनतेरस पर्व, नरक चतुर्दशी व हनुमान जयंती, धन संपत्ति की देवी मां लक्ष्मी का दीपावली पर्व, अन्नकूट महोत्सव व गोवर्धन पूजा, भाई की रक्षा के लिए भैया दूज, सूर्य की आराधना का पर्व छठ पूजा और देवोत्थान एकादशी व्रत जैसे सारे प्रमुख त्योहार और व्रत इसी महीने में आते हैं।