• Webdunia Deals
  1. खबर-संसार
  2. समाचार
  3. प्रादेशिक
  4. Kashmir stonebird terrorism
Written By Author सुरेश एस डुग्गर
Last Modified: श्रीनगर , मंगलवार, 25 अप्रैल 2017 (19:31 IST)

कश्मीर की शांति को निगल रहे हैं पत्थरबाज

कश्मीर की शांति को निगल रहे हैं पत्थरबाज - Kashmir stonebird terrorism
श्रीनगर। कश्मीर की शांति को आतंकी और पत्थरबाज लीलने की कोशिश में हैं। पहले सरकार को सिर्फ आतंकवाद के मोर्चे पर ही जूझना पड़ रहा था अब पत्थरबाज भी उसके लिए बड़ी सिरदर्द बन गए हैं। 
 
यह इसी से साबित होता है कि जब जम्मू कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती सोमवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात कर रही थीं, उसी वक्त घाटी के हालात और बिगड़ते चले गए थे। जहां एक ओर पुलवामा में पीडीपी नेता अब्दुली गनी डार की संदिग्ध आतंकियों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी, वहीं दूसरी ओर घाटी के सैकड़ों स्टूडेंट्स सड़कों पर थे।
 
स्टूडेंट्स के तीखे प्रदर्शन का ही असर था कि पांच दिन के बाद सोमवार को खुले सभी शिक्षण संस्थानों को दोबारा से बंद करना पड़ा है। प्रदर्शन के दौरान लड़कियां भी सुरक्षाबलों पर जमकर पथराव करती नजर आ रही हैं। यह पहला मौका है कि कश्मीर में युवतियां भी यूं सड़कों पर खुलकर सामने आई हैं। हालांकि मुफ्ती और मोदी की मुलाकात का सबसे बड़ा एजेंडा घाटी में व्याप्त अशांति ही थी।
 
15 अप्रैल को पुलवामा डिग्री कालेज में कथित पुलिस ज्यादती का कश्मीरी छात्र विरोध कर रहे हैं। यहां सुरक्षाबलों और छात्रों के बीच जमकर संघर्ष हुआ। इस टकराव में कम से कम 50 लोग घायल हो गए। अब इस प्रदर्शन की आंच पूरे श्रीनगर और आसपास के स्कूलों तक फैल गई है। छात्र कक्षाएं छोड़कर सड़कों पर उतर आए हैं। असल समस्या सोमवार से शुरू हुई, जब एसपी हायर सेकंडरी स्कूल के सैकड़ों छात्र ने कक्षाओं का बहिष्कार करके कॉलेज का गेट तोड़ दिया और मौलाना आजाद रोड पर आवाजाही ठप कर दी। यहां पुलिस और छात्रों का टकराव हुआ, जिसकी वजह से नाराज छात्रों ने राहगीरों और सुरक्षाबलों पर पत्थरबाजी की। इसके बाद, हिंसा कर रहे छात्रों को काबू करने के लिए पुलिस ने आंसू गैस और पानी की बौछार का इस्तेमाल करना पड़ा।
 
इस संघर्ष में कम से कम 12 पुलिसवाले घायल हो गए, जबकि बहुत सारे निजी वाहन क्षतिग्रस्त हो गए। एक प्रत्यक्षदर्शी के बकौल, छात्रों ने पाकिस्तानी झंडे दिखाए और नारेबाजी की। वहीं, कुछ ने पत्थर भी फेंके। इससे मौलाना आजाद रोड से गुजर रही कारों और मौके पर मौजूद पुलिसवालों की गाड़ियों के शीशे टूट गए। पुलिस ने बयान जारी करके बताया कि एसपी हायर सेकंडरी स्कूल और वुमंस कॉलेज में छात्र पढ़ाई कर रहे थे। कक्षाएं शुरू होने के एक घंटे बीते ही थे कि कुछ अराजक तत्व इन शैक्षिक संस्थानों के अंदर घुस आए और हंगामा खड़ा कर दिया।
 
पुलिस ने इस मामले में छह छात्रों को हिरासत में लिया है। पुलिस ने बताया कि संघर्ष एसपी कॉलेज से शुरू हुआ और जल्द ही रीगल चौक तथा आसपास के क्षेत्रों की सड़कों तक फैल गया। वुमंस कॉलेज की छात्राएं भी प्रदर्शन में शामिल हो गईं। सुरक्षाकर्मियों ने हवा में कुछ गोलियां भी चलाईं, लेकिन यह स्पष्ट नहीं है कि असली गोली का इस्तेमाल किया गया या रबड़ की गोलियां चलाई गईं। झड़पों के चलते बाजार बंद हो गए और लोग वाणिज्यिक केंद्र से बाहर सुरक्षित स्थानों की ओर भागने लगे।
 
कश्मीर के हालत यह हैं कि भाजपा और पीडीपी राज्य में भीड़ की हिंसा, बढ़ते आतंकवाद और हाल में हुए श्रीनगर लोकसभा सीट पर हुए उपचुनाव में कम वोटिंग को लेकर इन दिनों सार्वजनिक व निजी दोनों ही रूप से एक-दूसरे के खिलाफ बयान दे रहे हैं। घाटी में पत्थरबाजों और हिंसक भीड़ से निपटने का तरीका दोनों ही ओर से हो रही बयानबाजी का केंद्र है। पीडीपी कहती है कि घाटी के हालात पर भाजपा की राजनीति ‘टकराव को बढ़ाने वाली’ है, जबकि भाजपा का कहना है कि पीडीपी ‘तुष्टीकरण’ की राजनीति कर रही है। वहीं कश्मीर को लेकर पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों का कहना है कि इस उलझन की वजह से सुरक्षा तंत्र तबाह हो रहा है। स्पष्ट शब्दों में कहें तो आतंकी और पत्थरबाज जो चाहते हैं राजनीतिज्ञ उसकी जमीन खुद तैयार करके देने लगे हैं।
ये भी पढ़ें
अनंतनाग उपचुनाव को लेकर चुनाव आयोग और सरकार में ठनी