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Written By WD Feature Desk
Last Modified: शुक्रवार, 31 जनवरी 2025 (17:41 IST)

किसके पास होता है किसी भी अखाड़े के महामंडलेश्वर को हटाने का अधिकार, जानिए अखाड़ों के नियम

mamata kulkarni
हाल ही में, किन्नर अखाड़े में ममता कुलकर्णी को महामंडलेश्वर के पद से हटाया गया था। यह निर्णय अखाड़े के संस्थापक ऋषि अजय दास ने लिया था। उन्होंने आरोप लगाया था कि ममता कुलकर्णी अखाड़े के नियमों का उल्लंघन कर रही हैं और उन्होंने अखाड़े के हितों को नुकसान पहुंचाया है। महामंडलेश्वर एक अखाड़े के सर्वोच्च धार्मिक नेता होते हैं। वे धार्मिक अनुष्ठानों का नेतृत्व करते हैं, अपने अनुयायियों को मार्गदर्शन प्रदान करते हैं और अखाड़े के प्रशासनिक कार्यों को देखते हैं। लेकिन क्या किसी महामंडलेश्वर को उनके पद से हटाया जा सकता है? अगर हां, तो यह अधिकार किसके पास है?  

महामंडलेश्वर कौन होते हैं?
महामंडलेश्वर वे संत होते हैं जिन्होंने अपने जीवन को धर्म और आध्यात्म को समर्पित कर दिया है। वे अखाड़ों के प्रमुख होते हैं और उनके अनुयायियों के लिए मार्गदर्शक का काम करते हैं। महामंडलेश्वर बनने के लिए कई वर्षों तक कठोर तपस्या करनी होती है और धार्मिक ज्ञान का गहरा अध्ययन करना होता है।

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महामंडलेश्वर को हटाने के कारण
महामंडलेश्वर को विभिन्न कारणों से उनके पद से हटाया जा सकता है, जैसे कि:
  • धार्मिक नियमों का उल्लंघन: यदि कोई महामंडलेश्वर अखाड़े के धार्मिक नियमों का उल्लंघन करता है तो उसे पद से हटाया जा सकता है।
  • अनैतिक आचरण: यदि कोई महामंडलेश्वर अनैतिक आचरण करता है तो उसे पद से हटाया जा सकता है।
  • अक्षमता: यदि कोई महामंडलेश्वर अपने कर्तव्यों को निभाने में असमर्थ होता है तो उसे पद से हटाया जा सकता है।
 
महामंडलेश्वर को हटाने की प्रक्रिया
महामंडलेश्वर को हटाने की प्रक्रिया अखाड़े के आंतरिक नियमों पर निर्भर करती है। आमतौर पर, महामंडलेश्वर को हटाने के लिए अखाड़े के सभी सदस्यों की सहमति आवश्यक होती है। अखाड़े के आचार्य, वरिष्ठ संत और महंत महामंडलेश्वर को हटाने का फैसला कर सकते हैं।   कुछ मामलों में, एक जांच समिति गठित की जाती है जो महामंडलेश्वर के खिलाफ लगाए गए आरोपों की जांच करती है और फिर निर्णय लेती है। यदि मामला गंभीर हो तो अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद् भी हस्तक्षेप कर सकती है।