28 फरवरी 2001 को रंजन गोगोई गुवाहाटी हाईकोर्ट में न्यायाधीश के पद पर नियुक्त किए गए थे। 2010 में उनका ट्रांसफर पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट में कर दिया गया। 12 फरवरी 20111 को उन्हें पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट का मुख्य न्यायाधीश चुना गया। 23 अप्रैल 2013 में उन्हें सुप्रीमकोर्ट में न्यायाधीश के पद पर नियुक्त किया गया।
प्रेस कॉन्फ्रेंस करने वाले सुप्रीम कोर्ट के 4 न्यायाधीशों में रंजन गोगोई भी थे, जिसके बाद वे सुर्खियों में आ गए। उन्होंने उस समय कहा था, स्वतंत्र न्यायाधीश और शोर मचाने वाले पत्रकार लोकतंत्र के पहले रक्षक हैं। रंजन गोगोई सुप्रीम कोर्ट के उन ग्यारह जजों में से हैं, जिन्होंने अपनी संपत्ति का ब्योरा सार्वजनिक किया, जिसके मुताबिक उनके पास एक भी कार नहीं है।
जस्टिस गोगोई भारत के 46वें मुख्य न्यायाधीश होंगे। उनका कार्यकाल 17 नवंबर 2019 को समाप्त होगा। वे पहले चीफ जस्टिस होंगे, जिनका संबंध पूर्वोत्तर भारत से होगा।