मंगलवार, 26 नवंबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. समाचार
  2. मुख्य ख़बरें
  3. राष्ट्रीय
  4. Supreme Court issues notice in NEET UG dispute case
Last Updated :नई दिल्ली , सोमवार, 15 जुलाई 2024 (23:24 IST)

NEET UG विवाद मामले में Supreme Court ने जारी किए नोटिस

Supreme court
Supreme Court issues notice in NEET UG dispute case : उच्चतम न्यायालय ने राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (NTA) की ओर से दायर उन याचिकाओं पर सोमवार को निजी पक्षकारों को नोटिस जारी किए, जिनमें राष्ट्रीय पात्रता-सह-प्रवेश परीक्षा-स्नातक (NEET UG) के विवाद को लेकर एनटीए के खिलाफ विभिन्न उच्च न्यायालयों में लंबित मामलों को शीर्ष अदालत में स्थानांतरित करने का अनुरोध किया गया है, ताकि एक ही मुद्दे पर अलग-अलग अदालतों में सुनवाई से बचा जा सके।
 
इससे पहले, एक अवकाशकालीन पीठ ने 14 जून को एनटीए की इसी तरह की याचिकाओं पर पक्षकारों को नोटिस जारी किया था। एनटीए ने कहा था कि प्रश्न पत्र लीक और अनियमितताओं के अन्य आरोपों को लेकर वर्ष 2024 की नीट-यूजी को रद्द करने का अनुरोध करने वाली कई याचिकाएं कई उच्च न्यायालयों में लंबित हैं।
 
एनटीए की ओर से पेश वकील वर्धमान कौशिक ने सोमवार को प्रधान न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति जेबी पारदीवाला की पीठ से आग्रह किया कि नई याचिकाओं को भी शीर्ष अदालत में स्थानांतरित किया जाए, क्योंकि वे एक ही मुद्दे से संबंधित हैं।
 
पीठ ने कहा, नोटिस जारी करें और इसे ऐसी ही अन्य याचिकाओं के साथ संबद्ध करें। पीठ ने कहा कि इन याचिकाओं पर भी 18 जुलाई को नीट-यूजी विवाद पर लंबित याचिकाओं के साथ विचार किया जाएगा। एनटीए ने पीठ से विभिन्न उच्च न्यायालयों में लंबित कार्यवाही पर रोक लगाने का भी आग्रह किया।
प्रधान न्यायाधीश ने कहा कि एक बार उच्चतम न्यायालय ने स्थानांतरण याचिकाओं पर नोटिस जारी कर दिया है, तो उच्च न्यायालय प्रक्रियात्मक रूप से सुनवाई पर आगे नहीं करते हैं। पीठ ने एनटीए के वकील से इसे संबंधित उच्च न्यायालयों के संज्ञान में लाने को कहा।
 
शीर्ष अदालत विभिन्न उच्च न्यायालयों से मामलों को अपने पास स्थानांतरित करने का अनुरोध करने वाली पांच याचिकाओं पर सुनवाई कर रही थी। इससे पहले, पीठ ने 11 जुलाई को उन याचिकाओं पर सुनवाई 18 जुलाई तक के लिए स्थगित कर दी थी, जिसमें नीट-यूजी के आयोजन में कथित अनियमितताओं की जांच कराने समेत इस परीक्षा को रद्द करने और दोबारा परीक्षा कराने का अनुरोध किया गया है।
सुनवाई टालने का कारण यह था कि पक्षकारों को एनटीए और केंद्र का जवाब नहीं मिला था। पीठ ने यह भी कहा था कि उसे परीक्षा के संचालन में कथित अनियमितताओं की जांच में हुई प्रगति पर सीबीआई से एक स्थिति रिपोर्ट मिली है।
 
शीर्ष अदालत में 10 जुलाई को दायर एक अतिरिक्त हलफनामे में केंद्र ने कहा था कि नीट-यूजी के परिणामों का डेटा विश्लेषण मद्रास स्थित भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी-मद्रास) द्वारा किया गया था, जिसमें न तो ‘सामूहिक अनियमितता’ का कोई संकेत पाया गया और न ही यह पाया गया कि स्थानीय अभ्यर्थियों के किसी समूह ने इसका लाभ उठाया तथा असामान्य रूप से उच्च अंक प्राप्त किया।
 
केंद्र का यह बयान शीर्ष अदालत की ओर से आठ जुलाई को की गई उस टिप्पणी के संदर्भ में अहम है जिसमें उसने कहा है कि पांच मई को आयोजित नीट यूजी परीक्षा में बड़े पैमाने पर अनियमितता पाई गई तो वह दोबारा परीक्षा कराने का आदेश जारी कर सकता है।
सरकारी और निजी कॉलेजों के एमबीबीएस, बीडीएस, आयुष और अन्य संबंधित पाठ्यक्रम में प्रवेश के लिए पांच मई को आयोजित वर्ष 2024 की नीट-यूजी परीक्षा में 23.33 लाख अभ्यर्थियों ने हिस्सा लिया। यह परीक्षा देश के 571 और विदेश के 14 शहरों में स्थित 4750 केंद्रों पर आयोजित कराई गई थी। (भाषा)
Edited By : Chetan Gour 
ये भी पढ़ें
डोडा में सुरक्षाबलों और आतंकियों की बीच मुठभेड़, सेना ने पूरे इलाके में की घेराबंदी