आडवाणी को बड़ा झटका, अब राष्ट्रपति बनना मुश्किल...
बाबरी मस्जिद मामले में सुप्रीम कोर्ट द्वारा मुकदमा चलाने संबंधी फैसले से भारत के पूर्व उप प्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी को बड़ा झटका लगा है। यहां तक की अब तो उनका राष्ट्रपति बनने का सपना भी अधर में पड़ता दिखाई दे रहा है।
जुलाई में होने जा रहे राष्ट्रपति चुनाव में भाजपा की ओर से राष्ट्रपति पद की दौड़ में सबसे आगे चल रहे आडवाणी इस फैसले के बाद अचानक पीछे हो चले हैं। उनका इंतजार खत्म होने का नाम ही नहीं ले रहा है।
पहले यह कहा जा रहा था कि भाजपा के पास राज्यसभा में बहुमत नहीं है। अब जब यह उम्मीद जगी है कि पार्टी राष्ट्रपति चुनाव जीत सकती है तो अदालत का यह आदेश रास्ते में आ गया। लगता नहीं है कि जुलाई तक इस मामले का फैसला हो जाएगा। पीएम इन वेटिंग के रूप में मशहूर आडवाणी अब प्रेसिडेंट इन वेटिंग बन गए हैं।
भाजपा के लिए बुरी खबर यह भी है कि इस दौड़ में दूसरे नंबर पर चल रहे मुरली मनोहर जोशी भी बाबरी विध्वंस मामले में आरोपी है। पार्टी के सामने अब बड़ी चुनौती राष्ट्रपति चुनाव के लिए उम्मीदवार का चयन होगा।
हालांकि इस फैसले से केंद्रीय मंत्री उमा भारती और राज्यपाल कल्याणसिंह को भी बड़ा झटका लग सकता है। उन दोनों पर भी पद छोड़ने का दबाव बढ़ जाएगा। बहरहाल इस फैसले का दूरगामी असर भाजपा की राजनीति पर पड़ेगा और वे सभी नेता जिन पर अदालत ने मुकदमा चलाने का आदेश दिया है आने वाले समय में बैकफुट पर दिखाई देंगे।