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Last Updated : बुधवार, 17 फ़रवरी 2016 (15:34 IST)

जेएनयू विवाद : खालिद सहित 10 आरोपियों की धरपकड़ के लिए छापेमारी

JNU traitor dispute
जेएनयू में राष्ट्र विरोधी कार्यक्रम करने और देश विरोधी नारे लगाने के आरोप में दिल्ली पुलिस को पांच छात्रों की तलाश है। इस मामले में पुलिस ने दिल्ली सहित उत्तरप्रदेश, बिहार और कश्मीर में कई जगह छापेमारी की। 
 
मामले की तहकीकात के बाद पुलिस ने आरोपियों की पहचान उमर खालिद, आशुतोष कुमार, अनिरबन भट्टाचार्य रामा नागा और अनंत प्रकाश के रूप में की। हालांकि कुछ और नाम भी सामने आ रहे हैं-  अंजलि अनवेश, अश्वति, भवन, कोमल, रियाज, रूबिना और समा। उमर खालिद को मामले का मास्टरमाइंड बताया जा रहा है। 
दिल्ली पुलिस ने उसकी तलाश में देश के कई इलाकों में छापेमारी की है जिसमें दिल्ली का जाकिर नगर वाला घर भी शामिल है जहां उसके माता-पिता मिले। पुलिस के मुताबिक, वो दिल्ली से बाहर कहीं छिपा है और उसके संपर्क पाकिस्तान से हैं।
 
जेएनयू मामले में दूसरे वांछित आरोपियों की तलाश में पुलिस ताबड़तोड़ छापेमारी कर रही है। पिछले 9 फरवरी को भारत विरोधी नारेबाजी के बाद उमर खालिद कई टीवी कार्यक्रमों में शामिल हुआ था। लेकिन, एफआईआर के तुरंत बाद वो फरार हो गया। उमर का मोबाइल फोन भी बंद है।
 
दिल्ली पुलिस के मुताबिक खालिद का कश्मीर के कई आतंकी संगठनों से भी संपर्क है। फोन रिकॉर्ड से भी ये सबूत मिले हैं कि वो पाकिस्तान के कई लोगों के साथ संपंर्क में था। पुलिस का कहना है कि खालिद का आईएसआई से किसी तरह का संपर्क है या नहीं वो उसकी गिरफ्तारी के बाद ही साफ हो सकेगा।
 
बताया जा रहा है कि उमर खालिद के कश्मीर के अलगाववादी संगठनों के साथ उसके करीबी रिश्ते हैं। देश के खिलाफ जहर उगलने में उसे हवाला कारोबारियों से भी मदद मिलती रही है। पुलिस के मुताबिक 9 फरवरी को जेएनय़ू में हुए कार्यक्रम में कश्मीर के कुछ अलगाववादियों ने भी हिस्सा लिया था। कश्मीरी लड़के उमर खालिद के यहां रूके हुए थे।
 
कन्हैया ने किया खुलासा : जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) में देशविरोधी गतिविधियों में शामिल होने के आरोप में गिरफ्तार किए गए छात्रसंघ अध्यक्ष कन्हैया कुमार ने पुलिस पूछताछ में सनसनीखेज खुलासा किया है।
 
कन्हैया ने बताया कि जेएनयू में कार्यक्रम आयोजित करने की योजना उमर खालिद ने तैयार की थी। उसके कश्मीरी अलगाववादियों से सीधे संबंध हैं और संदिग्ध कश्मीरी युवक उमर से मिलने भी आते थे। कन्हैया के खुलासे के बाद उमर खालिद पर पुलिस का शिकंजा और कस सकता है।
 
कन्हैया ने यह भी खुलासा किया कि 9 फरवरी के कार्यक्रम की योजना उमर खालिद ने कई महीने पहले बना ली थी। योजना के तहत 7 फरवरी को जेएनयू परिसर में 10 कश्मीरी युवक आए थे। ये युवक 9 फरवरी को कार्यक्रम में शामिल हुए थे और उन्होंने भारत के टुकड़े करने और अफजल गुरु की शहादत में नारे भी लगाए थे।
 
पुलिस उमर समेत इन कश्मीरी युवकों की भी तलाश कर रही है। जेएनयू में 9 फरवरी को आयोजित कार्यक्रम में अफजल गुरू के समर्थन के साथ ही भारत के टुकड़े करने की भी नारेबाजी की गई थी। मामले में पुलिस ने कन्हैया कुमार, आशुतोष कुमार, उमर खालिद, अर्निबन भट्टाचार्य, रामा नागा और अनंत प्रकाश के खिलाफ देशद्रोह की धारा में रिपोर्ट दर्ज की है। अन्य आरोपी छात्र फरार हैं। पुलिस ने आरोपी छात्रों को जांच में सहयोग करने के लिए जेएनयू प्रशासन को पत्र भी लिखा था, लेकिन अब तक अन्य आरोपियों को गिरफ्तार नहीं किया जा सका।

गौरतलब है कि जेएनयू में 9 फरवरी की इस घटना के बाद बीते दिन कोलकाता की जादवपुर यूनिवर्सिटी में भी देश विरोधी नारे लगाए गए। अफजल गुरु और कश्मीर के मुद्दे पर जमकर नारेबाजी हुई। जिनमें कुछ छात्रों का समूह अफजल गुरु की फांसी के विरोध, कश्मीर की आजादी, इशरत जहां और गिलानी के समर्थन में नारेबाजी करता नजर आया। रैली में मणिपुर की आजादी के समर्थन और पीएम मोदी और आरएसएस के विरोध में भी नारे लगाए गए।