सुप्रीम कोर्ट ने सभी आईआईटी को काउंसलिंग करने से रोका
नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने देश के सभी भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) को अगले आदेश तक इस वर्ष के संयुक्त प्रवेश परीक्षा के बाद होने वाली काउंसलिंग और दाखिला नहीं करने का आदेश दिया है।
न्यायमूर्ति दीपक मिश्रा और न्यायमूर्ति ए.एम. खानविलकर ने आईआईटी में काउंसलिंग और दाखिले के संबंध में दायर होने वाली किसी भी रिट याचिका को शुक्रवार से स्वीकार करने पर सभी उच्च न्यायालयों पर प्रतिबंध लगा दिया है।
न्यायालय ने सभी उच्च न्यायालयों के समक्ष लंबित याचिकाओं और आईआईटी-जेईई 2017 की रैंक लिस्ट तथा परीक्षा में शामिल होने वाले सभी अभ्यर्थियों को अतिरिक्त अंक देने को चुनौती देने वाली सभी याचिकाओं की जानकारी मांगी है।
पीठ ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 10 जुलाई की तारीख तय की है। आईआईटी-जेईई 2017 की रैंक सूची रद्द करने संबंधी अर्जी पर न्यायालय ने 30 जून को मानव संसाधन विकास मंत्रालय को नोटिस जारी किया था।
आईआईटी में दाखिले की इच्छुक ऐश्वर्या अग्रवाल ने न्यायालय से इस पर निर्देश देने का अनुरोध करते हुए कहा था कि जेईई (एडवांस) 2017 में शामिल विद्यार्थियों को बोनस अंक देने का फैसला उसके और अन्य विद्यार्थियों के अधिकारों का उल्लंघन है। (भाषा)