सहकारी बैंकों को राष्ट्रीयकृत बैंक में बदलने का कोई प्रस्ताव नहीं
नई दिल्ली। सरकार ने शुक्रवार को स्पष्ट किया कि देश में सहकारी बैंकों को राष्ट्रीयकृत बैंकों में परिवर्तित करने का कोई प्रस्ताव उसके विचाराधीन नहीं है।
वित्त राज्यमंत्री संतोष कुमार गंगवार ने लोकसभा में सी. महेंद्रन के प्रश्न के लिखित उत्तर में यह जानकारी दी। मंत्री ने कहा कि जो बैंक भारतीय रिजर्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी सूची में शामिल हैं, वे अनुसूचित बैंक हैं।
आरबीआई उक्त अधिनियम की धारा 42 (6) (क) के तहत निर्धारित मानदंडों को पूरा करने वाले बैंकों को इस सूची में शामिल करता है। पहले से ही कई राज्य सहकारी
बैंक और शहरी सहकारी बैंक ऐसे हैं, जो इस अधिनियम की दूसरी सूची में शामिल किए जा चुके हैं और इस तरह वे अनुसूचित बैंक हैं। (भाषा)