रविवार, 20 अक्टूबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. समाचार
  2. मुख्य ख़बरें
  3. राष्ट्रीय
  4. 4 day long Chhath festival of Surya worship begins in Bihar
Written By
Last Modified: शुक्रवार, 28 अक्टूबर 2022 (21:01 IST)

नहाय-खाय के साथ सूर्य उपासना का 4 दिवसीय छठ महापर्व शुरू, स्टेशनों पर उमड़ी भीड़

Chhath puja 2022
पटना। बिहार में सूर्य देव की आराधना से जुड़ा 4 दिवसीय महापर्व छठ शुक्रवार को नहाय-खाय के साथ शुरू हो गया। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने लोक आस्था के महापर्व की शुरुआत के अवसर पर लोगों को शुभकामनाएं दीं। दूसरी ओर, बिहार जाने वाले लोगों की भीड़ महापर्व के चलते स्टेशनों पर बढ़ गई है। इसे ध्यान में रखते हुए अतिरिक्त ट्रेनें भी चलाई गई हैं। 
 
नीतीश ने ट्वीट कर कहा कि यह आत्मानुशासन का पर्व है। लोग शुद्ध अंत:करण एवं निर्मल मन से अस्ताचल और उदीयमान भगवान सूर्य को अर्घ्य अर्पित करते हैं। भगवान भास्कर से राज्य की प्रगति, सुख, समृद्धि और शांति के लिए प्रार्थना करता हू्ं।
 
उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव ने भी आस्था, पवित्रता और अनुशासन के महापर्व के प्रारंभ होने पर भगवान भास्कर की पूजा-अर्चना की। उन्होंने राज्य के साथ-साथ पूरे देश के लोगों को छठ की सुभकामनाएं दीं।
 
लालू-तेजस्वी ने दीं शुभकामनाएं : तेजस्वी ने कहा कि यह त्योहार भारतीय संस्कृति का महापर्व है, जिसमें पवित्रता और अनुशासन पर खास ध्यान दिया जाता है। राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू प्रसाद, पूर्व मुख्यमंत्री मंत्री राबड़ी देवी, वन एवं पर्यावरण मंत्री तेज प्रताप यादव और राज्यसभा सदस्य मीसा भारती ने भी लोगों को छठ की शुभकामनाएं दीं।
 
छठ पर्व के पहले दिन शुक्रवार सुबह व्रती अपने परिवार के सदस्यों के साथ राजधानी पटना के पास से गुजर रही गंगा नदी के विभिन्न घाटों सहित प्रदेश की अन्य नदियों के घाटों व तालाबों के किनारे पहुंचे और स्नान एवं सूर्य उपासना के साथ नहाय-खाय की रस्म पूरी की।
 
क्या होता है नहाय-खाय : नहाय-खाय के दौरान व्रती अरवा चावल, चने की दाल, कद्दू की सब्जी और धनिया के पत्ते की चटनी का भोग लगाते हैं।
 
शनिवार को होगा खरना : सूर्य उपासना के इस पावन पर्व पर नहाय-खाय के अगले दिन यानी शनिवार को व्रतियों द्वारा निर्जला उपवास रखकर खरना किया जाएगा। खरना में दूध, अरवा चावल और गुड़ से बनी खीर एवं रोटी का भोग लगाया जाता है।
 
36 घंटे का निर्जला उपवास : खरना के बाद व्रतियों का 36 घंटों का निर्जला उपावास शुरू हो जाएगा, जो 30 अक्टूबर की शाम को अस्ताचलगामी सूर्य और 31 अक्टूबर को उदीयमान सूर्य को अर्घ्य देने के बाद पारण के साथ पूरा होगा।
 
राजधानी पटना में इस महापर्व के दौरान व्रतियों और श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा को लेकर प्रशासन और पुलिस द्वारा व्यापक स्तर पर इंतजाम किए गए हैं।
 
पटना के जिलाधिकारी चंद्रशेखर सिंह ने कहा कि छठ महापर्व के अवसर पर उत्कृष्ट भीड़ प्रबंधन, सुदृढ़ सुरक्षा व्यवस्था और सुचारू यातायात प्रबंधन प्रशासन की सर्वोच्च प्राथमिकता है।
Rail
उन्होंने बताया कि छठ पर्व के दौरान कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए जिले में विभिन्न स्थानों पर 599 दंडाधिकारियों और 3,500 पुलिस कर्मियों की तैनाती की गई है। इसके अलावा, यातायात प्रबंधन के लिए 1,200 पुलिस कर्मियों को तैनात किया गया है।
 
सिंह के मुताबिक, किसी भी तरह की आपात स्थिति से निपटने के लिए एनडीआरफ (राष्ट्रीय आपदा मोचन बल) की आठ टीमें (जिनमें 400 जवान हैं) और एसडीआरफ (राज्य आपदा मोचन बल) की पांच टीमें (जिनमें 250 जवान हैं) तैनात की गई हैं।
 
उन्होंने बताया कि छठ पर्व के लिए तैनात किए गए दंडाधिकारी समन्वयक की भूमिका भी निभाएंगे और विद्युत, आपदा प्रबंधन, नगर निगम, स्वास्थ्य, पूजा समिति सहित सभी भागीदारों के साथ तालमेल स्थापित करते हुए छठ पूजा का सफल आयोजन सुनिश्चित करेंगे।
 
सिंह के अनुसार, पटना में संवेदनशील स्थानों पर विशेष सतर्कता बरतने का निर्देश दिए जाने के साथ 43 चिन्ह्ति स्थलों पर नागरिक सुरक्षा स्वयंसेवकों की प्रतिनियुक्ति की गई है।
 
नहाय-खाय की रस्म के दौरान गंगा नदी के विभिन्न घाटों पर स्नान एवं सूर्य उपासना के समय एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमों को गश्त लगाते हुए देखा गया।
 
जिलाधिकारी ने बताया कि पटना शहर में कुल 91 घाट हैं, जिनमें से 16 घाटों को छठ पर्व को लेकर खतरनाक घाट घोषित किया गया है। उन्होंने बताया कि व्रतियों से इन खतरनाक घाटों पर अर्घ्य न देकर पूजा के लिए सुरक्षित घाटों का चयन करने का आग्रह किया गया है।
Edited by: Vrijendra Singh Jhala (भाषा/वेबदुनिया)
ये भी पढ़ें
Parag Agarwal Twitter: ट्‍विटर छोड़ने वाले पराग अग्रवाल को कितने रुपए मिलेंगे? जानकर भरोसा नहीं कर पाएंगे...