वसंत पंचमी विशेष : मां सरस्वती के अचूक मंत्र एवं प्रयोग
लेखक बनना चाहते हैं तो वसंत पंचमी पर पढ़ें यह मंत्र
माघ शुक्ल पंचमी को मनाए जाने वाले वसंत पंचमी के त्योहार का महत्व हमारे देश में काफी ज्यादा है। इस दिन भगवान आशुतोष शिव-पार्वती के विवाह की 'लग्न' लिखाई गई थी। इस दिन भगवान को आम का बौर (मोर) चढ़ाया जाता है तथा गुप्त नवरात्रि (माघी) की पंचमी को माता सरस्वती का पूजन किया जाता है। इस दिन उनका पूजन-अर्चन तथा मंत्र जाप करने का अनंत गुना फल मिलता है। आगे पढ़ें श्री सरस्वती-गायत्री मंत्र-
मंत्र- श्री सरस्वती-गायत्री मंत्र-(1)
ॐ ऐं वाग्दैव्यै विद्महे कामराजाय धीमही तन्नो देवी प्रचोदयात।(2) '
ऐं' इस एकाक्षरी मंत्र को माता सरस्वती का बीज मंत्र कहते हैं। इसके 12 लाख जप करने से सिद्धि मिलती है।प्रयोग- प्रात: 10,000 जप कर (स्फटिक माला-श्वेत आसन) ब्राह्मी पीने से व्यक्ति श्रुतिधर होता है यानी सुनी हुई बात कभी भूलता नहीं है।