तमाम उहापोह के बाद विदर्भ के किसान की विधवा कलावती बांदुरकर चुनाव मैदान से हट गईं। कांग्रेस महासचिव राहुल गाँधी ने संसद में वंचितों के जिक्र के दौरान कलावती का नाम लेकर उसे राष्ट्रीय सुखिर्यों में जगह दिलवा दी थी।
कलावती की उम्मीदवारी का समर्थन कर रहे गैर सरकारी संगठन विदर्भ जनांदोलन समिति ने कहा कि कलावती के दामाद ने धमकी दी थी कि उसके महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव लड़ने की स्थिति में वह आत्महत्या कर लेगा। एनजीओ ने वानी सीट से एक अन्य किसान विधवा बेबीताई बैस को उतारा है।
महाराष्ट्र के वित्त राज्य मंत्री और अमरावती से दो बार विधायक रह चुके देशमुख इस बार निर्दलीय के तौर पर चुनाव लड़ रहे हैं। कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता ने आशंका जताई है कि देशमुख शेखावत के मंसूबों पर पानी फेर सकते हैं।
मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण ने कहा कि कांग्रेस पार्टी बागियों के खिलाफ कार्रवाई के बारे में दो दिनों के भीतर निर्णय करेगी। बहरहाल कुछ सीटों से बागी उम्मीदवार चुनाव मैदान से हट गए हैं।
पश्चिमी महाराष्ट्र के सांगली जिले की कवथे महाकाल विधानसभा सीट से एक अन्य कांग्रेस बागी उम्मीदवार अजीत घोरपड़े चुनाव मैदान से हट गए हैं। उनके हटने से राकांपा उम्मीदवाद और राज्य के पूर्व गृह मंत्री आरआर पाटिल को काफी राहत मिली है।