अलगाववादी नेता ने जेल में मांगी फोन सुविधा, Delhi High Court ने किया NIA से जवाब तलब
याचिकाकर्ता की ओर से पेश अधिवक्ता तारा नरूला ने तर्क दिया कि एनआईए द्वारा अनापत्ति प्रमाण पत्र नहीं दिए जाने के बहाने नवंबर 2023 से टेलीफोन सुविधाएं मनमाने ढंग से वापस ले ली गईं।
Phone facility in jail: दिल्ली उच्च न्यायालय (Delhi High Court) ने सोमवार को तिहाड़ जेल में फोन कॉल और 'ई-मुलाकात' (E-meeting) सुविधाओं को वापस लेने के खिलाफ अलगाववादी नेता नईम अहमद खान की याचिका पर तिहाड़ जेल अधिकारियों और राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (NIA) से उनका रुख पूछा। न्यायमूर्ति सचिन दत्ता ने एनआईए और तिहाड़ जेल अधिकारियों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
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टेलीफोन सुविधाएं मनमाने ढंग से वापस ले लीं : याचिकाकर्ता की ओर से पेश अधिवक्ता तारा नरूला ने तर्क दिया कि एनआईए द्वारा अनापत्ति प्रमाण पत्र नहीं दिए जाने के बहाने नवंबर 2023 से टेलीफोन सुविधाएं मनमाने ढंग से वापस ले ली गईं। जुलाई 2017 में गिरफ्तार खान, 26/11 मुंबई हमले के मुख्य साजिशकर्ता हाफिज सईद से जुड़े आतंकवाद-वित्तपोषण मामले में विचाराधीन कैदी के रूप में जेल में है।
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एजेंसी अपना जवाब दाखिल करेगी : अदालत ने एनआईए के वकील से इस सुविधा से इंकार करने पर सवाल उठाया जबकि कॉल रिकॉर्ड करने जैसे पर्याप्त सुरक्षा उपाय मौजूद थे। एनआईए के वकील ने कहा कि एजेंसी अपना जवाब दाखिल करेगी। अपनी याचिका में खान ने कहा कि दिल्ली जेल नियमों के तहत अन्य कैदियों को दी जाने वाली सुविधा से उन्हें वंचित करने का कोई कारण नहीं है। इस मामले में आगे की सुनवाई 18 मार्च को होगी।(भाषा)
Edited by: Ravindra Gupta