शुक्रवार, 22 नवंबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. समाचार
  2. मुख्य ख़बरें
  3. राष्ट्रीय
  4. Rahul Gandhi told the meaning of Hey Ram and Jai Siya Ram
Written By
Last Modified: शुक्रवार, 2 दिसंबर 2022 (23:59 IST)

राहुल गांधी ने बताया 'हे राम' और 'जय सिया राम' का अर्थ

Rahul Gandhi
आगर मालवा (मध्यप्रदेश)। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने शुक्रवार को कहा कि भारतीय जनता पार्टी और आरएसएस (राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ) के लोग अपना जीवन भगवान राम की तरह नहीं जीते हैं। उन्होंने 'भारत जोड़ो यात्रा' के दौरान यहां एक रैली में एक पुजारी के साथ बातचीत का हवाला देते हुए कहा कि महात्मा गांधी द्वारा इस्तेमाल किया जाने वाला वाक्यांश ‘हे राम’ जीवन जीने का तरीका है।

गांधी की भारत जोड़ो यात्रा वर्तमान में मध्य प्रदेश से गुजर रही है तथा शुक्रवार शाम को आगर मालवा जिले में रुकी। उन्होंने कहा, हे राम, जीवन जीने का तरीका है। इसने पूरी दुनिया को प्यार, भाईचारा, सम्मान और तपस्या का मतलब सिखाया। कांग्रेस नेता ने कहा, इसी तरह, जय सिया राम का अर्थ है, सीता और राम एक हैं और भगवान राम ने सीता के सम्मान के लिए लड़ाई लड़ी।

भाजपा और आरएसएस पर लगाया आरोप : राहुल गांधी ने आरोप लगाया, जय श्री राम का मतलब है कि भगवान राम की जय हो, लेकिन भाजपा और आरएसएस के लोग उनकी (भगवान राम) तरह जीवन नहीं जी रहे और महिलाओं के सम्मान के लिए नहीं लड़ रहे।

उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा था कि जो कभी भगवान राम के अस्तित्व में विश्वास नहीं करते थे, वे अब उन्हें अपशब्द कहने के लिए रावण ले आए हैं।

मोदी कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे की उस टिप्पणी का जिक्र कर रहे थे जिसमें उन्होंने कहा था कि प्रधानमंत्री सभी चुनावों में लोगों से अपना चेहरा दिखाकर वोट करने के लिए कहते हैं। खड़गे ने पूछा, क्या आप रावण की तरह 100 सिर वाले हैं।

किसानों को किया जा रहा परेशान : इस बीच, केंद्र और मध्य प्रदेश की भाजपा सरकारों पर निशाना साधते हुए राहुल गांधी ने दावा किया कि किसानों को खाद नहीं मिल रही है और 50 हजार रुपए से एक लाख रुपए तक का कर्ज नहीं चुकाने के लिए किसानों को परेशान किया जा रहा है जबकि बैंकों द्वारा लाल कालीन बिछाकर उद्योगपतियों के बड़े कर्ज माफ कर दिए जाते हैं।

कांग्रेस नेता ने कहा कि माता-पिता अपने बेटे को इंजीनियर बनाने के लिए शिक्षा ऋण लेते हैं लेकिन स्नातक होने के बाद युवा इंजीनियरों को नौकरी के अभाव में मजदूरों के रूप में काम करने के लिए मजबूर किया जाता है। गांधी ने कहा कि छोटी दुकानें और प्रतिष्ठान रोजगार का सबसे बड़ा स्रोत थे, लेकिन वे सकल घरेलू उत्पाद (जीएसटी) और नोटबंदी से बुरी तरह प्रभावित हुए हैं।

सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों को बंद किया जा रहा : कांग्रेस नेता ने कहा कि रोजगार का एक प्रमुख स्रोत सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम (पीएसयू) थे, लेकिन उन्हें भी बंद किया जा रहा है और यहां तक कि अस्पतालों और स्कूल का भी निजीकरण किया जा रहा है तथा इस प्रकार नौकरी के सभी अवसर समाप्त हो रहे हैं।

महंगाई का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि पूर्ववर्ती संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार के समय पेट्रोल की कीमत 60 रुपए प्रति लीटर थी लेकिन अब यह 107 रुपए प्रति लीटर है। एलपीजी सिलेंडर की कीमत 400 रुपए थी, अब यह 1,000 रुपए से अधिक है।

उन्होंने कहा कि आम लोगों की जेब से पैसा निकालकर उद्योगपतियों को दिया जा रहा है जिसके परिणामस्वरूप देश में अब दो वर्ग हैं, एक वर्ग अरबपति उद्योगपतियों का है और दूसरा वर्ग किसानों, मजदूरों और छोटे दुकानदारों है। गांधी ने कहा कि लोग यह स्थिति नहीं चाहते हैं, लोग न्याय चाहते हैं और उन्हें न्याय दिलाना ‘भारत जोड़ो यात्रा’ का मुख्य उद्देश्य है।Edited By : Chetan Gour (भाषा)
ये भी पढ़ें
मोदी ने गुजरात में किए 3 बड़े रोड शो, 31 रैलियों को संबोधित किया